Vice Presidential Election 2025 को लेकर BJP एक्टिव मोड में आ गई है। VK Saxena, Arif Mohammad Khan, Manoj Sinha और Harivansh जैसे नाम चर्चा में हैं। जानें किसे मिल सकती है टिकट।

Vice Presidential Election 2025: उपराष्ट्रपति चुनाव की तारीख नजदीक आते ही भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने अपने उम्मीदवार को लेकर मंथन तेज कर दिया है। पार्टी एक ऐसे चेहरे को लाना चाहती है जोकि भविष्य में भी भरोसेमंद साबित हो। पार्टी फोरम में कई बड़े नामों पर चर्चा चल रही है लेकिन अभी तक फाइनल नहीं हो सका है। बताया जा रहा है कि दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना (VK Saxena), बिहार के राज्यपाल अरिफ मोहम्मद खान (Arif Mohammad Khan), गुजरात के राज्यपाल आचार्य देवव्रत, कर्नाटक के राज्यपाल थावरचंद गहलोत, सिक्किम के राज्यपाल ओम माथुर और जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा (Manoj Sinha) के नामों पर भी मंथन हो चुका है।

RSS से जुड़े चेहरे भी चर्चा में

चर्चा है कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के विचारक शेषाद्रि चारी (Seshadri Chari) का नाम भी संभावित उम्मीदवारों की सूची में है। वहीं, आगामी बिहार चुनावों को ध्यान में रखते हुए मौजूदा राज्यसभा उपसभापति हरिवंश (Harivansh) पर भी विचार किया जा रहा है। उपसभापति हरिवंश बीते कुछ दिनों में अपने पक्ष में माहौल बनाते हुए भी देखे गए। हालांकि, पार्टी नेतृत्व पहले ही साफ कर चुका है कि उपराष्ट्रपति का उम्मीदवार BJP से होगा और वही चुना जाएगा जो पार्टी और RSS की विचारधारा से गहराई से जुड़ा हो।

धनखड़ के इस्तीफे के बाद BJP सतर्क

उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ (Jagdeep Dhankhar) ने 21 जुलाई को अचानक स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए इस्तीफा दे दिया था। उनका कार्यकाल अगस्त 2027 तक था। असल वजह सरकार और धनखड़ के बीच पिछले एक साल से बढ़ता अविश्वास रहा। बताया जा रहा है कि जस्टिस यशवंत वर्मा (Justice Yashwant Varma) के महाभियोग पर सरकार की लाइन से असहमति जताना इस्तीफे की बड़ी वजह बनी।

NDA को भरोसा, PM Modi और JP Nadda को मिली जिम्मेदारी

NDA ने उपराष्ट्रपति पद के लिए उम्मीदवार तय करने का अधिकार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और BJP अध्यक्ष जेपी नड्डा को सौंप दिया है। पार्टी अगले हफ्ते शीर्ष नेताओं और सहयोगियों की बड़ी बैठक बुलाने जा रही है ताकि ताकत का प्रदर्शन किया जा सके। इसके अलावा सभी NDA सांसदों को मंगलवार को संसदीय दल की बैठक के लिए बुलाया गया है जिसमें प्रधानमंत्री मोदी सांसदों को संबोधित करेंगे।

संविधान में स्पष्ट प्रावधान

संविधान के अनुसार, यदि कार्यकाल के बीच उपराष्ट्रपति चुनाव होता है तो चुना गया उम्मीदवार पूरे 5 साल का कार्यकाल पूरा करेगा। उम्मीदवार भारतीय नागरिक होना चाहिए, न्यूनतम 35 वर्ष की आयु पूरी कर चुका हो और राज्यसभा का सदस्य चुने जाने के योग्य हो। कोई भी व्यक्ति जो सरकार या स्थानीय निकाय में लाभ का पद (Office of Profit) रखता है, वह उम्मीदवार नहीं बन सकता।