सार

राजस्थान के धौलपुर का है शॉकिंग मामला है ये। यहां चंबल में डकैतों से पुलिस की मुठभेड़ हुई जिसमें दोनो ओर से 65 राउंड फायर हुए। तीन राज्यों का इनामी डकैत अपने भाई और साथी के साथ जंगल में छुपा था। एनकाउंटर होने से पहले फायर करते हुए भाग गया, अब खाक छान रही पुलिस।

धौलपुर ( dholpur). पुरानी फिल्मों में डकैतों और पुलिस की आपस में गोलीबारी आपने भी देखी होगी। गोलीबारी करते हुए घोड़ों पर बैठकर डकैत पहाड़ियों में गायब हो जाते थे....। ऐसा अब भी है। बस फर्क इतना ही है कि अब घोड़ों की जगह बाइकों ने ले ली है। राजस्थान के धौलपुर शहर से नामी डकैत रहे हैं। लेकिन अभी भी डकैतों की ये नस्ल खत्म नहीं हुई है। अब एक नए डकैत ने राजस्थान, एमपी और यूपी पुलिस की नाक में दम कर रखा हैं। इस डकैत पर करीब सवा लाख का इनाम है। बुधवार को वह पुलिस की गोलियों से बचता हुआ पहाड़ियों और जंगल में गायब हो गया। दोनो ओर से 65 राउंड फायरिंग हुई है। 

जगन गुर्जर का आधिपत्य खत्म, अब इस डकैत की तलाश में पुलिस 
धौलपुर में जगन गुर्जर नामी डकैत रहा, जो अब जेल मे है। उसके बाद अब उससे भी बड़े डकैत केशव गुर्जर की तलाश की जा रही है। केशव ने मंगलवार को धौलपुर जिले के एक बड़े सेठ और प्रॉपर्टी कारोबारी को धमकाया था कि आधी जायदाद नाम कर देना नहीं तो तेरे बेटे को घर से बाहर निकलते ही गोली मार दूंगा। बुधवार दोपहर पुलिस को सूचना मिली कि वह धौलपुर जिले में सोने का गुर्जा थाना इलाके में स्थित जंगलात में अपने छोटे भाई पच्चीस हजार के इनामी डकैत शीशराम गुर्जर और पांच हजार के इनामी डकैत बंटी पंडित के साथ छुपा हुआ हैं। पहाड़ियों और बीहड़ में सात थानों की पुलिस पहुंची।

पुलिस पर फायरिंग करते हुए हो गया फरार
लेकिन उसक बाद भी उसका कुछ नहीं बिगाड़ सकी। केशव गुर्जर गैंग की ओर से चालीस राउंड से ज्यादा फायर किए गए। इधर पुलिस ने करीब 25 राउंड फायर किए। गोली किसी को भी नहीं लगी और केशव अपनी गैंग के साथ फरार हो गया। पुलिस अफसरों ने आधी रात तक बीहड़ों में उसकी तलाश की लेकिन वह नहीं मिला। पिछले पंद्रह दिन में दो बार उसे ठिकाने लगाने की पुलिस ने तैयारी की, लेकिन दोनो ही बार पुलिस को ही मुंह की खानी पड़ी है।