सार

राजस्थान के सीकर जिले से एक फर्जीवाड़े का अलग ही मामल सामने आया है। जहां एक महिला की 4 करोड़ की जमीन बिक गई, जबकि वो कभी कभी रजिस्ट्रार ऑफिस तक नहीं गई। हैरानी की बात यह है कि उस पर खरीदार ने लोन तक करा लिया।

 

 

सीकर. राजस्थान के सीकर जिले में फर्जीवाड़ा कर एक विधवा बुजुर्ग की चार करोड़ रुपए की जमीन बेचने का मामला सामने आया है। अपने पूरे  जीवन में कभी रजिस्ट्रार ऑफिस का मुंह नहीं देखने वाली बुजुर्ग की 13 बीघा जमीन बिना किसी दस्तावेज के ही बिक गई। खासबात ये है कि खरीदारों ने फर्जीवाड़े से उस पर बैंक से लोन भी उठा लिया। महिला के परिजनों को जानकारी हुई तो इसकी शिकायत पुलिस में दी। जिसके आधार पर पुलिस ने जांच शुरू कर दी है। 

ई-मित्र से शुरु हुआ घोटाला 
जमीन घोटाले का शिकार हुई धोद निवासी महिला छोटी देवी पत्नी भागीरथमल है। जिसकी जमीन के फर्जी बेचान की शुरुआत ई-मित्र से हुई। छोटी देवी के अनुसार वह पिछले साल मार्च महीने में गांव के एक ई-मित्र पर रुपए निकलवाने गई थी। जहां एक व्यक्ति ने उसके आधार कार्ड सहित अन्य दस्तावेज ले लिए और उसके अंगूठे के निशान भी ले लिए। गिरोह के सदस्यों ने ई-मित्र से बुजुर्ग की पासबुक ली और उस पर लगी फोटो निकालकर कई कॉपी करवा ली। बाद में वही फोटो वापस पासबुक में लगवा दी। इसके बाद फर्जी दस्तावेज बनाकर उसकी जमीन की फर्जी बिक्री दिखाकर जमीन घिरणियां निवासी सुरेश के नाम कर दी गई। रजिस्ट्रार कार्यालय के दस्तावेजों में मिली फोटो का पासबुक की फोटो से मिलान होने पर ये खुलासा हुआ। 

बैंक से लिया लोन, जमाबंदी से हुआ खुलासा
 फर्जीवाड़ा करने वाले आरोपियों ने जमीन की रजिस्ट्री अपने नाम कराने के साथ नामांतरण भी खुलवा लिया। जिसके आधार पर सीकर की एक बैंक से 4.71 लाख रुपए का लोन भी लिया। कुछ दिनों पहले परिवार के सदस्य जब जमीन की जमाबंदी निकलवाने गए तब पूरे फर्जीवाड़े सामने आया। मामले में ई- मित्र संचालक से लेकर पटवारी तक मिलीभगत से घोटाले के आरोप से घिर गए हैं। 

गलत रजिस्ट्री हुई, करवाएंगे जांच: तहसीलदार
धोद तहसीलदार सुशील सैनी ने फर्जी रजिस्ट्री को मानवीय भूल से गलत रजिस्ट्री होना बताया है। कहा कि मामले की जांच करवाई जा रही है। दोषियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी।