सार
पुणे में जीका वायरस की चपेट में आने से दो लोगों की मौत हो चुकी है। चूंकि बारिश के मौसम में मच्छरों की भरमार है। ऐसे में इस बीमारी से बचने के लिए आपको विशेष ध्यान देने की जरूरत है।
पुणे. महाराष्ट्र के पुणे में हालही दो लोगों की मौत जीका वायरस के कारण हो गई है। जिन लोगों की मौत हुई है,उनमें से एक की उम्र 68 और दूसरे की 78 साल है। दोनों का इलाज प्राइवेट अस्पताल में चल रहा था। पुणे में जीका वायरस के अब तक 52 केस सामने आ चुके हैं।
पीएमसी की रिपोर्ट में हुआ खुलासा
पुणे मेडिकल कॉर्पोरेशन द्वारा मरीजों के सैंपल का टेस्ट किया गया। जिसमें जीका वायरस की पुष्टि होने के बाद उनका इलाज शुरू किया गया। पीएमसी द्वारा जीका वायरस के हालही 5 केस सामने आने की बात कही है। जिसमें दो मृतकों के अलावा दो गर्भवती महिलाएं और अन्य भी है।
जीका वायरस के लक्षण
जीका वायरस की चपेट में आने पर त्वचा पर दाने, जोड़ों में दर्द, मांसपेशियों में दर्द, आंखे लाल होना, बुखार आना आदि लक्षण नजर आ सकते हैं। अगर इनमें से कोई लक्षण नजर आते हैं। तो बिल्कुल भी लापरवाही नहीं करें। क्योंकि जरा सी लापरवाही में आप की जान को भी खतरा हो सकता है।
यौन संपर्क से जीका का खतरा
डॉक्टर्स की माने तो जीका वायरस एडीज मच्छरों के कारण फैलने वाली बीमारी है। इसका यौन सम्पर्क के माध्यम से भी फैलने का खतरा बना रहता है। इस कारण बारिश के मौसम में ध्यान देने की बहुत अधिक जरूरत होती है। क्योंकि इस मौसम में मच्छरों की भरमार रहती है। जीका वायरस गर्भवती महिलाओं के पेट में पल रहे बच्चे में भी फैल सकता है। जिससे बच्चों में जन्मजात समस्या भी हो सकती है। जैसे आंख या मस्तिष्क में जन्मजात दोष होना आदि।
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इस तरह करें बचाव
जीका वायरस से बचाव के लिए कुछ बातों पर ध्यान देना जरूरी है। जैसे मच्छरों से दूरी बनाकर रखें, मच्छर नहीं काटे इसलिए मच्छरदानी का उपयोग करें, घर में छत और आंगन में टूटे फूटे बर्तन आदि में बारिश का पानी जमा नहीं होने दें, क्योंकि उसमें मच्छर पनपते हैं। मच्छर अधिक होने पर मच्छरों को खत्म करने वाली अगरबत्ती या अन्य साधनों का उपयोग करें, जिससे मच्छर का प्रकोप कम हो जाए।
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