सार
दिल्ली में यमुना नदी के उफान से हाहाकार मचा हुआ है। आधी से ज्यादा दिल्ली में पानी भर गया है। अब यमुना नदी राजस्थान में रौद्र रूप दिखाने वाली है। बाढ़ के खतरे को देखते हुए 25 गांव खाली करा लिए हैं। सेना को बुला लिया गया है।
हनुमानगढ़ (राजस्थान). यमुना जी का राजस्थान से सीधे कोई कनेक्शन नहीं है लेकिन उसके बाद भी यमुना के रौद्र रूप का असर राजस्थान में दिख रहा है। रातों रात 23 से ज्यादा गांव खाली करा दिए गए हैं। दिल्ली से लेकर हरियाणा तक हंगामा मचा हुआ है और अब राजस्थान में परेशानी खड़ी हो रही है। आज और कल दो दिन राजस्थान के लिए भारी रहने वाले हैं। कलक्टर और एसपी गावों में जा जाकर लोगों से घर खाली करने की अपील कर रहे हैं ताकि लोगों को सुरक्षित बचाया जा सके।
दिल्ली, हिमाचल, उत्तराखंड की बारिश का राजस्थान में असर
दरअसल, दिल्ली, हिमाचल, उत्तराखंड में भारी बारिश का असर अब राजस्थान पर देखने को मिल रहा है। भारी बारिश के कारण युमना जी उफान पर है और खतरे के निशान को पार कर चुकी है। वहां से लगातार पानी छोड़ा जा रहा है तो हरियाणा पहुंच रहा है और हरियाणा से होकर गुजरने वाली घग्गर नदी से होता हुआ ये पानी राजस्थान तक पहुंच रहा है। घग्गर नदी बेहद सूक्ष्म रूप में राजस्थान के हनुमानगढ़ जिले की ओर बहती है। लेकिन यहां आते आते पानी कम हो जाता है। अब यमुना में उफान के कारण और दो दिन से बीकानेर संभाग में भारी बारिश के कारण नदी में बाढ़ के हालात हो गए हैं।
बाढ़ के कहर से खाली करा दिए 25 गांव
हनुमानगढ़ कलक्टर और एसपी ने घग्गर नदी के नजदीक आने वाले 25 गांव खाली करा दिए हैं। प्रशासन बाढ़ की तैयारी मानकर काम कर रहा है। राहत कैंप, मेडिकल सिस्टम, राशन सामान, डॉक्टरों की टीम, पशुओं के लिए अलग राहत कैंप.... सब बंदोबस्त कर लिए गए हैं। कल शाम से प्रशासनिक अधिकारी गांव गांव जाकर मुनादी कर रहे हैं कि सामान तैयार रखें, गांव छोडने पड सकते हैं। गावों में कमरानी, फतेहपुर, अमरपुरा, भद्रकालीए ढालिया, बुड़सिंहवाला, गाहडू, ज्वालासिंह, सतीपुरा, हनुमानगढ़ जंण् एवं टाउनए श्रीनगर, खुंजा, गंगागढ़, पुरूषोत्तमवाला बास, करनीसर, सहलीपुरा, बहलोल नगर, मसरूवाला, चक 23 एसटीजी, चक 25.26 एसटीजी, चक 29 एसटीजी समेत अन्य गांव शामिल है। छह आरएएस अफसरों की अलग से ड्यूटी लगाई गई है। स्कूल कॉलेज और शिक्षण संस्थान आगामी आदेशों तक बंद कर दिए गए हैं। सेना की टुकडी मदद के लिए तैयार है। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ की टीमें पहले ही तैयार हैं।