सार
भारत में स्ट्रॉबेरी (strawberry) की खेती काफी पहले से हो रही है। स्ट्रॉबेरी की खेती से पहले सितंबर के पहले सप्ताह में किसानों को 3-4 बार रोटर से जुताई करा देना चाहिए। फिर गोबर का खाद खेत में डाल देने से किसानों को लाभ मिलता है। किसान रासायनिक खाद का इस्तेमाल भी कर सकते हैं।
ट्रेंडिंग डेस्क. भारत में स्ट्रॉबेरी (strawberry) की खेती काफी पहले से हो रही है। लेकिन अब बड़ी संख्या में किसान इसकी खेती करने लगे हैं। कमाई बहुत ज्यादा होने से इसके प्रति किसानों का आकर्षण बढ़ रहा है। भारत में स्ट्रॉबेरी की खेती सामान्य तौर पर सितंबर में होती है। बारिश के बाद का यह मौसम स्ट्रॉबेरी के लिए काफी उपयुक्त माना जाता है। वैसे तो इसकी खेती हर प्रकार के खेत में की जा सकती है लेकिन अगर बलुई दोमट मिट्टी और लाल मिट्टी हो तो पैदावार अधिक होती है। यह खेती किसानों के लिए वरदान साबित हो रही है। क्योंकि इसके जरिए किसान मोटी कमाई करते हैं। आइए जानते हैं स्ट्रॉबेरी की खेती कैसे होती है और किसान इससे कितनी आमदनी कर सकता है।
अलग तरीके से तैयार करना पड़ता है खेत
स्ट्रॉबेरी की खेती से पहले सितंबर के पहले सप्ताह में किसानों को 3-4 बार रोटर से जुताई करा देना चाहिए। फिर गोबर का खाद खेत में डाल देने से किसानों को लाभ मिलता है। किसान रासायनिक खाद का इस्तेमाल भी कर सकते हैं। ये सब करने के बाद खेत में बेड बनाना पड़ता है। बेड़ की चौड़ाई एक से दो फीट के बीच होती है और एक दूसरे से इतनी ही दूरी रखी जाती है। पौध लगाने के लिए प्लास्टिक मल्चिंग की जाती है और इसमें एक तय दूरी पर छेद कर दिया जाता है।
स्ट्रॉबेरी की खेती करने में किसी भी तरह के केमिकल का यूज नहीं किया। उन्होंने पूरी तरह से खेतों के लिए गोबर और जैविक खाद का इस्तेमाल किया। जब उन्होंने स्ट्रॉबेरी के पौधे की रोपाई की, उसके लगभग 25 दिनों के बाद ही सारे पौधों के नीचे पॉलिथीन बिछा दी, ताकि फल मिट्टी से ना लगे और उससे बचा रहे।
सरकार से भी मिलती है मदद
राज्य सरकारें खुद ही किसानों को नई तकनीक से खेती के लिए प्रेरित कर रहे हैं। सरकार ऐसा इसलिए कर रही है, ताकि किसानों की आय बढ़ सके। सरकार अपने प्रदेश के किसानों को बड़ा बाजार उपलब्ध करवाना चाहती है। कई तरह की खेती के लिए राज्य सरकारें मदद करती हैं। स्ट्रॉबेरी की खेती भी उनमें से एक है।
कितनी कमाई
एक एकड़ स्ट्रॉबेरी की खेती से किसानों को करीब 2.5 लाख रुपये का मुनाफा हो रहा है। यानी अगर आपके पास 5 एकड़ भी खेत है तो आप करीब 12-13 लाख रुपये कमा सकते हैं। झारखंड के मौसम में स्ट्रॉबेरी की खेती अच्छी हो रही है, साथ ही स्ट्रॉबेरी की मिठास किसी भी ठंडे प्रदेश के स्ट्रॉबेरी से कम नहीं है। भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी भी अपने फार्म में स्ट्रॉबेरी की खेती करते हैं। कुछ समय पहले उनका स्ट्रॉबेरी की खेती वाला एक एक वीडियो भी सामने आया था।
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