सार

स्कूल में पढ़ने आई लड़कियों को चीखते-चिल्लाते, सिर पटकते और रोते-बिलखते देखकर सब हैरान रह गए। उन्हें समझ में ही नहीं आया कि हुआ क्या है। तभी अभिभावक एक शख्स को लेकर आए, जिसके आते ही सभी लड़कियां चुप हो गईं। 

बागेश्वर। उत्तराखंड के बागेश्वर जिले के रायखिली गांव के एक सरकारी स्कूल से चौंकाने वाला मामला सामने आया है। यहां स्कूल परिसर में छात्राओं की रोते-बिलखते और चीखते-चिल्लाते तथा जमीन पर लुढ़कते व सिर पटकते की वीडियो वायरल हो रही है। छात्राओं के इस उन्माद भरे और असामान्य व्यवहार की वीडियो देखने के बाद उनके अभिभावक तथा स्कूल प्रशासन दोनों हैरान हैं। साथ ही, अधिकारी व आम लोग भी यह समझ नहीं पा रहे अचानक एक साथ इतनी छात्राओं को ऐसा क्या हो गया, जो उन्हें इस स्थिति में पहुंचा गया। 

बताया जा रहा है कि यह जूनियर हाईस्कूल है और इसकी प्रधानाध्यापिका विमला देवी हैं। उन्होंने मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया कि घटना बीते मंगलवार की है। स्कूल परिसर में छात्राओं और एक स्कूली छात्र के बीच असामान्य व्यहवार की सूचना मिली थी। वे बच्चे रो रहे थे। चिल्ला रहे थे। जोर-जोर से कांप रहे थे और कुछ तो बिना किसी वजह के जमीन पर सिर पटकने की कोशिश कर रहे थे। 

YouTube video player

पुजारी को साथ लेकर आए माता-पिता, तो सब ठीक हो गया 
विमला देवी ने बताया कि उन्होंने इसकी सूचना बच्चों माता-पिता को दी। वे स्कूल में आए तो एक स्थानीय पुजारी को साथ ले आए और इसके बाद सब कुछ ठीक हो गया और स्थिति नियंत्रण में आ गई। इसके बाद, गुरुवार, 28 जुलाई को स्कूल परिसर में एक बार फिर कुछ  छात्राओं में उसी तरह का असामान्य व्यवहार देखा गया। तब प्रशासन और डॉक्टरों की टीम स्कूल आई थी। वहीं, बच्चों के अभिभावकों का कहना है कि हम स्कूल परिसर के अंदर पूजा कर रहे हैं। उनका मानना है  कि स्कूल परिसर में कोई दोष है और यह शापित है। 

'हम समझ नहीं पा रहे ऐसा क्या हुआ, सब ठीक कराएंगे'
वहीं, प्रधानाध्यापिका विमला देवी का कहना है कि हम कुछ भी करेंगे, मगर इन बच्चों को ठीक कराएंगे। इसके लिए चाहे डॉक्टरों की मदद लेनी हो या किसी और की, मगर हम चाहते हैं कि सब कुछ पहले जैसा सामान्य हो जाए। हम यह नहीं समझ पा रहे कि छात्रों ने ऐसा अजीब व्यवहार क्यों किया। हालांकि, डॉक्टरों का कहना है कि यह मास हिस्टिरिया का मामला हो सकता है। 

क्या होता है मास हिस्टीरिया?
मनोचिकित्सकों की मानें तो जब कोई मानिसक या भावनात्मक परेशानी में होता है और अपनी तरफ ध्यान आकर्षित कराना चाहता है, तो इस तरह की हरकतें कर सकता है। लोग एक दूसरे को देखकर इस तरह व्यवहार शुरू कर देते हैं और उन्हें बार-बार दोहराते हैं। इसे डिसोसिएशन भी कह सकते हैं। इसमें दिमाग में टकराव की स्थिति बनती है। आदमी अंदर ही अंदर घुट रहा होता है और अपना दर्द किसी को बता नहीं पाता। वह चाहता है कि लोग उससे बात करें, उसकी समस्याएं उससे पूछें। ऐसा नहीं करने पर वह अजीब हरकतें करता है और जब वहां कोई आकर  उनसे पूछता है, बात करता है, तो दिमाग शांत हो जाता है और फिर वे सामान्य हरकत करने लगते हैं। हालांकि, बच्चों में ऐसा लक्षण देखा जाना दुर्लभ मामला है। 

हटके में खबरें और भी हैं..

बेटे-बहू के साथ मां भी गई हनीमून पर.. लौटने पर पत्नी ने किया चौंकाने वाला खुलासा 

Job मांगने गया था 'एलियन', कंपनी से मिला ऐसा जवाब... बोला- अब क्या करूं

अरविंद केजरीवाल को राजनीति करते दस साल पहले पूरे हो गए, 10 फोटो में देखिए उनके पुराने रंग-ढंग