सार

कांग्रेस की करारी हार के बाद जहां नेतृत्व पर सवाल उठ रहे हैं, वहीं विपरीत नतीजों पर मुखर होकर बोलने वाले पार्टी प्रवक्ता को निष्कासित कर दिया गया है। ऐसा अनुमान लगाया जा रहा है कि पार्टी के अंदर यह घमासान अभी थमने के बजाय और बढ़ेगा। कांग्रेस नेता ने प्रियंका गांधी को पत्र लिखकर कहा कि पार्टी को इस हालात में पहुंचाने वालों की पारदर्शी समीक्षा हो। 

लखनऊ: उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव (Uttar Pradesh Vidhansabha Chunav) के नतीजे 10 मार्च को आ गए है जिसमें भारतीय जनता पार्टी को प्रंचड बहुमत के साथ जीत हासिल की है। बहुजन समाजवादी पार्टी और भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस को करारी शिकस्त का सामना करना पड़ा। कांग्रेस की करारी हार के बाद जहां नेतृत्व पर सवाल उठ रहे हैं, वहीं विपरीत नतीजों पर मुखर होकर बोलने वाले पार्टी प्रवक्ता को निष्कासित कर दिया गया है। ऐसा अनुमान लगाया जा रहा है कि पार्टी के अंदर यह घमासान अभी थमने के बजाय और बढ़ेगा। लोकसभा और विधानसभा चुनाव के दरमियान यहां जिम्मेदारी संभालने वाले कई नेताओं की कार्यशैली पर सवाल उठने लगे हैं।

कांग्रेस प्रवक्ता अंशु अवस्थी ने पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी को लिखे मार्मिक पत्र में कहा है कि वह 16 साल से पार्टी के लिए काम कर रहे हैं। जिन्होंने अपनी कार्यशैली से आपके (प्रियंका के) और कार्यकर्ताओं के भरोसे को तोड़ा है, उस पर मंथन होना चाहिए। प्रदेश में पार्टी को इस हालात में पहुंचाने वालों की पारदर्शी समीक्षा हो। जिनके ऊपर बड़ी जिम्मेदारियां थी, उन पर अनुशासनात्मक व संगठनात्मक कार्रवाई होनी चाहिए।

प्रियंका के निजी सचिव पर किया हमला
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस में अब नेता सवाल करने लगे है। एक दूसरे प्रवक्ता जीशान हैदर ने सार्वजनिक रूप से कहा कि कांग्रेस की 380 सीटों पर जमानत जब्त हुई है। उसके लिए सिर्फ और सिर्फ एक व्यक्ति जिम्मेदार है। प्रियंका गांधी से जुड़े इस व्यक्ति ने ही सारे निर्णय लिए हैं। प्रियंका ने भी उसकी सारी बातें मानी, क्योंकि उसने उनके आसपास पूरा एक कॉकस खड़ा कर रखा है। जीशान का यह हमला प्रियंका गांधी के चर्चित निजी सचिव पर है।

कांग्रेस नेतृत्व पर की अभद्र टिप्पणी 
जीशान हैदर के इस ट्वीट के कुछ देर बाद ही प्रदेश कांग्रेस अनुशासन समिति ने उन्हें छह साल के लिए पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया। अनुशासन समिति के सदस्य श्याम किशोर शुक्ला की ओर से जारी पत्र में कहा गया है कि जीशान ने कांग्रेस नेतृत्व पर अभद्र टिप्पणी की है। यह कृत्य घोर अनुशासनहीनता की श्रेणी में आता है। उधर, कांग्रेस के ही एक जिम्मेदार नेता ने नाम न छापने के अनुरोध के साथ कहा कि पर्दे के पीछे से प्रदेश कांग्रेस की कमान जिन हाथों में है, उन्हें नहीं हटाया गया तो बरसों से जुड़े कई अन्य नेता भी सार्वजनिक रूप से विरोध का रास्ता अख्तियार कर सकते हैं। जरूरी है कि हाईकमान शीघ्र ही समीक्षा कर निर्णय ले।

प्रियंका गांधी की टीम को बताया जेएनयू गैंग 
उधर, कांग्रेस प्रवक्ता जीशान हैदर ने कहा कि वह अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के सदस्य हैं। इसलिए प्रदेश कांग्रेस कमेटी उनका निष्कासन नहीं कर सकती है। उन्होंने प्रियंका गांधी की टीम को जेएनयू गैंग बताते हुए कहा कि इस टीम के सदस्यों को कांग्रेस के संविधान तक की जानकारी नहीं है। एआईसीसी सदस्य को राष्ट्रीय अध्यक्ष की संस्तुति के बाद ही बाहर किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी की किरकिरी कराने के लिए जेएनयू के पांच लोगों का गैंग बना हुआ है।

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