सार
21 जनवरी को संत सम्मेलन भी होगा। जिसमें देश के कोने-कोने से आए साधु संत शिरकत करेंगे। जिसमें इन प्रस्तावों पर भी मुहर लगेगी। इनमें देशभर से दो हजार बड़े साधु-महात्मा आ रहे हैं।
प्रयागराज (Uttar Pradesh) । माघ मेले में लगे विश्व हिंदू परिषद के शिविर में आज केंदीय मार्ग दर्शक मंडल की बैठक चल रही है। इसमें अयोध्या में राम मंदिर निर्माण की तिथि पर मंथन हो रहा है। विहिप के राष्ट्रीय महामंत्री मिलिंद परांडे ने राम नवमी से मंदिर निर्माण के श्रीगणेश का प्रस्ताव रखा। इस पर देश भर से संतों ने मंत्रणा शुरू की। शाम तक इस पर निर्णय ले लिया जाएगा। बैठक की अध्यक्षता स्वामी वासुदेवानंद सरस्वती कर रहे हैं।
शाम को दी जा सकती है मीडिया को जानकारी
बैठक में अब तक तीन प्रस्ताव रखे गए हैं। इनमें राम मंदिर निर्माण, नागरिकता संशोधन कानून और परिवारों में विघटन को रोकना प्रमुख हैं। खबर है कि महामंडलेश्वर स्वामी अखिलेश्वरानंद ने प्रस्ताव समर्थन किया है। प्रस्ताव में राम जन्मभूमि न्यास को मंदिर निर्माण की जिम्मेदारी सौंपे जाने की मांग की गई है,जानकारी के अनुसार बैठक में लाए गए प्रस्तावों की शाम 4 बजे मीडिया को जानकारी दी जा सकती है।
कल होगी प्रस्तावों पर स्वीकृति
21 जनवरी को संत सम्मेलन भी होगा। जिसमें देश के कोने-कोने से आए साधु संत शिरकत करेंगे। इसमें उन प्रस्तावों पर भी मुहर लगेगी। । सम्मेलन में शामिल होने के लिए संत-महात्मा जुट रहे हैं।
एक बार फिर तय होगी मंदिर निर्माण की भूमिका
अब सुप्रीम कोर्ट का फैसला आ चुका है। तीन माह के अंदर ट्रस्ट का गठन होना है। ऐसी उम्मीद की जा रही है ट्रस्ट के गठन से लेकर साधु संत और विहिप खुद इस मंदिर निर्माण में अपनी भूमिका को एक बार फिर से संगम की धरती से ही तय करेंगे।
ट्रस्ट में शामिल करने की मांग
साधु संत यह मानते हैं कि मंदिर आंदोलन में जिन पूज्य संतों और संगठनों, राजनेताओं का सहयोग और सानिध्य मिला उन्हें ट्रस्ट में शामिल किया जाना चाहिए, जबकि विहिप का साफ तौर मामना है कि केंद्रीय मार्ग दर्शक मंडल की बैठक में निश्चित तौर पर बड़ा निर्णय हो सकता है।
2001 में पास हुआ था राम मदिंर का प्रस्ताव
वर्ष 2001 के कुंभ के दौरान पहली बार अयोध्या में भव्य राम मंदिर निर्माण का प्रस्ताव विहिप की धर्म संसद में पास हुआ था। इस बैठक में प्रस्ताव पास हुआ था कि साल के अंत तक मंदिर का निर्माण न शुरु होने पर संत मंदिर निर्माण के लिए खुद अयोध्या जाएंगे।
विहिप ने तैयार कराया है राम मंदिर का मॉडल
अयोध्या में श्रीराम जन्मभूमि पर भव्य मंदिर बनाने के मॉडल को आम श्रद्धालुओं के दर्शन के लिए रखा गया है। इसे विहिप ने सीतापुर के कलाकारों से तैयार कराया है। अनावरण के समय विहिप के केंद्रीय उपाध्यक्ष चंपत राय ने कहा था कि जिस मॉडल को 1989 में कुंभ के दौरान प्रयाग में रखा गया था, उसी मॉडल का यह स्वरूप है। इसी मॉडल के आधार पर भव्य मंदिर का निर्माण होना है। उसे परिवर्तित नहीं किया जाना चाहिए, क्योंकि उसके पत्थर 20 वर्ष से तराश कर तैयार किए गए हैं।
इस पर भी रखा जा सकता है प्रस्ताव
राष्ट्रीय जनसंख्या नीति पर भी मंथन होगा। सम्मेलन के माध्यम से संत केंद्र सरकार से जनसंख्या नीति पर कानून बनाने की मांग करेंगे। इसके तहत हम दो हमारे दो फार्मूले को देश भर में लागू करने का प्रस्ताव भी पारित किया जाएगा।