सार

इस्लामियां ग्राउंड में आयोजित मुस्लिम धर्म संसद के मंच से मौलाना तौकीर ने उलेमाओं की दावत का जिक्र करते हुए कहा, उलेमाओं ने दावत का सिलसिला बंद कर दिया इसलिए हिंदू और मुस्लिमों में फर्क आ गया। दावत का सिलसिला शुरू कीजिए आपस में प्रेम भाव से रहिए तभी देश में सिलसिला शुरू होगा मैं तमाम हिंदूवादी लोगों से कहना चाहता हूं कि देश के लिए लड़ाई करो, देश की एकता के लिए लड़ाई करो। 

बरेली: आईएमसी नेता मौलाना तौकीर रजा (maulana tauqir) ने कहा देश को बर्बाद करने के लिए लड़ाई नहीं लड़ी जानी चाहिए। मैं जो कुछ भी कर रहा हूं किसी सियासी फायदे के लिए नहीं। जो हमने तकलीफ में जिंदगी गुजारी है आने वाली नस्ल के लिए हम अच्छा हिंदुस्तान छोड़ना चाहते हैं। हम इसलिए जद्दोजहद कर रहे हैं कि हम अपनी आने वाली नस्लों को एक अच्छा हिंदुस्तान दे सकें। इस दौरान उन्होंने यूपी सरकार (UP Government) पर भी जमकर निशाना साधा।

देश की एकता से लड़ाई नहीं करनी चाहिए
इस्लामियां ग्राउंड में आयोजित मुस्लिम धर्म संसद के मंच से मौलाना तौकीर ने उलेमाओं की दावत का जिक्र करते हुए कहा, उलेमाओं ने दावत का सिलसिला बंद कर दिया इसलिए हिंदू और मुस्लिमों में फर्क आ गया। दावत का सिलसिला शुरू कीजिए आपस में प्रेम भाव से रहिए तभी देश में सिलसिला शुरू होगा मैं तमाम हिंदूवादी लोगों से कहना चाहता हूं कि देश के लिए लड़ाई करो, देश की एकता के लिए लड़ाई करो। 

धर्म संसद के मंच से मौलाना तौकीर ने हरिद्वार में हुए धर्मसंसद (Dharm sansad) को लेकर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि वह असल में धर्म संसद नहीं थी। किसी धर्म में यह नहीं सिखाया जाता है कि लोगों का कत्लेआम शुरू कर दो लोगों की बुराई शुरू कर दी। धर्म संसद करने वाले अधर्मियों के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए। सरकार उनकी सरपरस्ती करती है तो हिंदुओं को उनका समर्थन नहीं करना चाहिए। ऐसे अधर्मियो के साथ खड़े नहीं होना चाहिए। उन्होंने यूपी सरकार को ललकारते हुए कहा, योगी जी अपनी पुलिस को भेजो हम यहीं खड़ रहेंगे। हटने वाले नहीं हैं।

हमारी जान लेने वालों को हम दावत देते हैं
मुस्लिम धर्म संसद के मंच से मौलाना ने अच्छाई और बुराई का भी मतलब समझाया। उन्होंने कहा, हम उनको दावत देते हैं जो हमारी जान लेना चाहते हैं। मैं हिंदू भाइयों से कहना चाहता हूं कि रावण कौन था। क्या रावण मुसलमान था। कृष्ण ने कंस का वध किया। क्या कंस मुसलमान था। पांडवों ने कौरवों का वध किया क्या कौरव मुसलमान थे। मैं हिंदुओं को बताना चाहता हूं कि तुम्हें कौन सी पुस्तक पढ़ाई गई है जिसमें लिखा है कि हिंदू और मुसलमानों को लड़ना चाहिए। हर दौर में अच्छे और बुरे में लड़ाई हुई है। अच्छाई और और बुराई में जंग होती रहेगी। जब तक दुनिया है तब तक जंग होती रहेगी। हिंदुओं को सोचना है कि अच्छा कौन है। मैं हिंदू समाज को यह बताना चाहता हूं। इसको धर्म संसद नाम दिया है। वह असल में धर्म संसद नहीं थी। किसी धर्म में यह नहीं सिखाया जाता है कि लोगों का कत्लेआम शुरू कर दो लोगों की बुराई शुरू कर दी।