सार

प बंगाल की सबसे चर्चित सीट नंदीग्राम पर सस्पेंस खत्म हो गया। नंदीग्राम से भाजपा के उम्मीदवार सुवेंदु अधिकारी ने जीत हासिल की। ममता बनर्जी को अपने बागी सुवेंदु के सामने हार का सामना करना पड़ा। हालांकि, टीएमसी ने रि काउंटिंग की मांग की थी। 

कोलकाता. प बंगाल की सबसे चर्चित सीट नंदीग्राम पर सस्पेंस खत्म हो गया। नंदीग्राम से भाजपा के उम्मीदवार सुवेंदु अधिकारी ने जीत हासिल की। ममता बनर्जी को अपने बागी सुवेंदु के सामने हार का सामना करना पड़ा। हालांकि, टीएमसी ने रि काउंटिंग की मांग की है। दरअसल, पहले समाचार एजेंसी एएनआई ने ममता बनर्जी के इस सीट से 1200 वोट से जीतने की जानकारी दी। लेकिन बाद में मीडिया रिपोर्ट्स में सुवेंदु अधिकारी के जीतने का दावा किया।

उधर, ममता बनर्जी ने कहा, मैं जनादेश को स्वीकार करती हूं। लेकिन मैं कोर्ट जाऊंगी क्योंकि मुझे जानकारी है कि परिणामों की घोषणा के बाद कुछ हेरफेर की गई और मैं उसका खुलासा करूंगी।

ममता ने कहा- नंदीग्राम के नतीजे स्वीकार
ममता बनर्जी ने कहा, नंदीग्राम के बारे में चिंता मत करो। नंदीग्राम के लोग जो भी जनादेश देंगे, मैं उसे स्वीकार करती हूं। मुझे कोई आपत्ति नहीं है। हमने 221 से अधिक सीटें जीतीं और भाजपा चुनाव हार गई। 

नंदीग्राम में कांटे का मुकाबला
नंदीग्राम सीट 5 राज्यों में सबसे हॉट सीट थी। इस सीट पर प बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का मुकाबला बागी सुवेंदु अधिकारी से था। अधिकारी भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़े। सुवेंदु और ममता के बीच कांटे का मुकाबला था। यहां कभी ममता आगे निकलती, तो कभी सुवेंदु। 

नंदीग्राम में ये उम्मीदवार मैदान में 
नंदीग्राम में 8 उम्मीदवार मैदान में थे। इस सीट से सुवेंदु अधिकारी, ममता बनर्जी, सीपीआईएम से मीनाक्षी मुखर्जी, सोशलिस्ट यूनिटी सेंटर ऑफ इंडिया के मनोज कुमार दास चुनाव लड़े। इसके अलावा चार निर्दलीय भी मैदान में थे। 

नंदीग्राम का क्या है इतिहास?

  • 1967 से 1972 तक भाकपा के भूपल चंद्र पांडा इस सीट पर जीतते रहे। 
  • 1996 में इस सीट पर कांग्रेस विजयी हुई। 
  • 2006 में भाकपा के इलियास मोहम्मद जीते। 
  • 2009 में उप चुनाव में टीएमसी की फिरोजा बीबी जीतीं। 
  • 2011 में टीएमसी से फिरोजा बीबी ने दोबारा जीत हासिल की।
  • 2016 में सुवेंदु अधिकारी ने जीत हासिल की।