सार
न्यूजीलैंड की पहली-भारतीय मूल की सांसद और मंत्री प्रियंका राधाकृष्णन का एक विडियो इन दिनों खूब वायरल हो रहा है। दरअसल, प्रियंका का एक तीन साल पुराना विडियो भारत के केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने गुरुवार को ट्विटर पर शेयर किया है। इस विडियो में देखा जा सकता है कि प्रियंका मलयालम भाषा में न्यूजीलैंड की संसद में अपना संबोधन दे रही हैं।
एशियानेट डेस्क. न्यूजीलैंड की पहली-भारतीय मूल की सांसद और मंत्री प्रियंका राधाकृष्णन का एक विडियो इन दिनों खूब वायरल हो रहा है। दरअसल, प्रियंका का एक तीन साल पुराना विडियो भारत के केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने गुरुवार को ट्विटर पर शेयर किया है। इस विडियो में देखा जा सकता है कि प्रियंका मलयालम भाषा में न्यूजीलैंड की संसद में अपना संबोधन दे रही हैं।
सिंगापुर से पढ़ाई के बाद ऑकलैंड गईं थी प्रियंका
प्रेस ट्रस्ट ऑफ इंडिया (पीटीआई) से मिली जानकारी के मुताबिक, भारत में जन्मीं 41 वर्षीय प्रियांका राधाकृष्णन ने अपनी स्कूलिंग सिंगापुर से की और उसके बाद आगे की पढ़ाई के लिए न्यूजीलैंड चली गईं। बता दें कि वह अपने पति के साथ ऑकलैंड में रहती हैं। न्यूजीलैंड की प्रधानमंत्री जैसिंडा अर्डर्न ने अपने मंत्रिमंडल में पांच नए मंत्रियों को शामिल किया, जिनमें प्रियंका भी शामिल है। मालूम हो कि दो सप्ताह पहले अर्डर्न की पार्टी ने देश के आम चुनाव में जबरदस्त जीत हासिल की थी। इस जीत पर भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी उन्हें बधाई दी थी।
विडियो साल 2017 का है
वीडियो में, केरल की रहने वाली राधाकृष्णन मलयालम में कुछ पंक्तियां बोलते हुए सुना जा सकता है। उन्होंने कहा, 'श्रीमान अध्यक्ष महोदय, मेरा मानना है कि यह पहली बार है जब मेरी मातृभाषा, मलयालम इस संसद में बोली गई है।' यहां हम आपको बता दें कि यह विडियो साल 2017 के नवंबर महीने का है जो वहां के संसद सत्र का है।
क्या कहा हरदीप सिंह पुरी ने?
केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने ट्विटर पर वीडियो को शेयर करते हुए लिखा कि "भारत को गर्व है कि न्यूजीलैंड में भारतीय मूल की मंत्री @priyancanzlp ने मलयालम में अपने देश की संसद को संबोधित किया।''
चेन्नई में जन्मीं है प्रियंका
सोशल मीडिया पर हजारों विचारों के साथ पुरानी क्लिप वायरल हो गई है। प्रियंका राधाकृष्णन का जन्म चेन्नई, तमिलनाडु में मलयाली माता-पिता के यहां हुआ था। सोमवार को उन्होंने विविधता, समावेश और जातीय समुदायों की मंत्री के रूप में शपथ ली। इसके अतिरिक्त, वह सामुदायिक एवं स्वैच्छिक क्षेत्र की मंत्री और सामाजिक विकास एवं रोजगार मंत्रालय की सहायक मंत्री भी बनी हैं।