सार
दक्षिणपूर्वी बांग्लादेश में एक निजी केमिकल कंटेनर डिपो में लगी भीषण आग और सिलसिलेवार विस्फोटों में अब तक 12 फायर फाइटर्स की भी मौत हो चुकी है। इस हादसे को काबू में करने करीब 25 घंटे लगे। हादसे में 49 लोग मारे गए। बांग्लादेश ऐसे हादसों के लिए कुख्यात है। पढ़िए कुछ बड़े हादसे...
ढाका. बांग्लादेश में चटगांव स्थित एक एक निजी कंटेनर डिपो में शनिवार रात हुए विस्फोट( Bangladesh Container Depot Fire) में मरने वालों की संख्या बढ़कर 49 हो गई है। इस हादसे में 12 फायर फाइटर्स( firefighters) भी लोगों की जान बचाते हुए मारे गए। 15 फायर फाइटर्स का इलाज चटगांव मेडिकल कॉलेज हॉस्पिटल में चल रहा है। हादसा चटगांव के कदमरासुल इलाके में स्थित BM कंटेनर डिपो में शनिवार देर रात हुआ था। बांग्लादेश ऐसे हादसों के लिए कुख्यात है। पढ़िए कुछ बड़े हादसे...
25 घंटे लगे आग पर काबू पाने में
बांग्ला ट्रिब्यून की रिपोर्ट के अनुसार, चटगांव के उपायुक्त मोमिनुर रहमान ने कहा कि आग में कम से कम 450 लोग घायल हुए हैं। फायर ब्रिगेड की 25 घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद भीषण आग पर काबू पाया जा सका। फायर सर्विसेज और सिविल डिफेंस की लगभग 25 यूनिट रेस्क्यू में लगाइ गई थीं। बांग्लादेश सेना के लगभग 250 सदस्य भी इस रेस्क्यू टीम का हिस्सा थे। घटना की जांच के लिए रविवार को 9 सदस्यीय लोकल एडमिनिस्ट्रेटिव कमेटी समेत तीन जांच पैनल गठित किए गए।
2005 से बांग्लादेश में सबसे भीषण औद्योगिक त्रासदियां
The worst industrial disasters in Bangladesh since 2005: पिछले दो दशकों में पिछले जुलाई तक कम से कम 26 कारखाने में आग लगने से 2,000 से अधिक श्रमिकों और कर्मचारियों की मौत हो गई। जबकि चटगांव का हादसा अलग है। लोकल मीडिया के अनुसार, ऐसे हादसों को रोकने पिछले साल जुलाई में इंटरनेशनल लेबर आर्गेनाइजेशन ने कुछ गाइडलाइन जारी की थी, लेकिन उनका पालन नहीं किया गया। इन औद्योगिक त्रासदियों से अलग 2019 में बांग्लादेश में एक और बड़ी आग की त्रासदी हुई थी, जब ओल्ड ढाका में एक केमिकल वेयर हाउस में गैस सिलेंडर विस्फोट के बाद कम से कम 70 लोगों की जान चली गई। यह एक जिसमें भीषण आग लग गई। बता दें कि बांग्लादेश में सबसे अधिक हादसे कपड़ा फैक्ट्रियों में होते आए हैं। बांग्लादेश 80% निर्यात करता है।
जनवरी 2005 - ढाका के बाहर एक कपड़ा कारखाने में आग लगने से 22 लोगों की मौत हो गई और 50 से अधिक घायल हो गए।
अप्रैल 2005-ढाका में एक कपड़ा फैक्ट्री की इमारत गिरने से कम से कम 64 लोग मारे गए थे और लगभग 100 घायल हुए थे।
फरवरी 2006 - ढाका में एक कपड़ा कारखाने की इमारत गिरने से 21 श्रमिकों की मौत हो गई थी।
फरवरी 2006-बंदरगाह शहर चटगांव में एक कपड़ा कारखाने में आग लगने से 65 मजदूरों की मौत हो गई थी
फरवरी 2010 - ढाका उपनगर में एक कपड़ा कारखाने में आग लगने से 21 मजदूरों की मौत हो गई थी
दिसंबर 2010 - एक ग्लोबल रिटेलर्स कपड़ा फैक्ट्री में आग लगने से 26 लोगों की मौत हो गई थी।
नवंबर 2012 - ढाका में पश्चिमी ब्रांडों की आपूर्ति करने वाले तज़रीन फैशन कारखाने में आग लगने से 112 श्रमिकों की मौत हो गई थी।
अप्रैल 2013 - ढाका के बाहरी इलाके में वैश्विक ब्रांडों की आपूर्ति करने वाले 5 कपड़ा कारखानों की आठ मंजिला इमारत गिरने से कम से कम 1,136 लोग मारे गए थे।
अगस्त 2016 - बांग्लादेश में चटगांव शहर में एक उर्वरक कारखाने से रिसने वाली गैस के कारण 100 से अधिक लोग बीमार हो गए।
सितंबर 2016 - ढाका के उत्तर में एक खाद्य और सिगरेट पैकेजिंग फैक्ट्री टैम्पाको फॉयल में आग लगने से कम से कम 34 लोगों की मौत हो गई थी।
जुलाई 2017 - गाजीपुर कारखाने में बॉयलर विस्फोट में कम से कम 13 लोगों की मौत हो गई थी।
जून 2021 - नारायणगंज में साजीब ग्रुप की एक सहयोगी कंपनी हाशेम फूड लिमिटेड की एक फूड प्रोसेसिंग फैक्ट्री में भीषण आग लगने से कम से कम 52 लोगों की मौत हो गई थी।
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