सार

बलूचिस्तान (Balochistan) में बलूच विद्रोहियों (Baloch Liberation Army) ने जाफर एक्सप्रेस हाईजैक कर बंधकों को रिहा करने के लिए 24 घंटे का अल्टीमेटम दिया है। वे बलूच कैदियों की रिहाई की मांग कर रहे हैं। सरकार ने 200 ताबूत भेजे हैं।

Pakistan Train Hijack: पाकिस्तान के बलूचिस्तान (Balochistan) में ट्रेन हाईजैक करने वाले बलूच विद्रोहियों (Baloch insurgents) ने बुधवार को 'अंतिम चेतावनी' दी। उन्होंने बलूच कैदियों की रिहाई के लिए 24 घंटे दिए हैं। कहा है कि असर पाकिस्तान की सरकार अमल नहीं करती है तो 24 घंटे बाद बंधकों को सजा दी जाएगी। आशंका है कि वे 24 घंटे बाद बंधकों को मारना शुरू कर देंगे। इसे देखते हुए पाकिस्तान की सरकार ने 200 ताबूत भेजे हैं।

बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) ने दावा किया है कि जाफर एक्सप्रेस (Jaffar Express) और उसके बंधकों पर उनका पूरा नियंत्रण है। खुफिया एजेंटों, पुलिस और अर्धसैनिक बलों सहित 200 से अधिक लोगों को बंधक बनाया गया है।

पाकिस्तान की सेना बंधकों को बचाने के लिए अभियान चला रही है। सेना की ओर से जानकारी दी गई है कि 155 बंधकों को मुक्त कराया गया है। 30 उग्रवादियों को मारा गया है। दूसरी ओर BLA ने दावा किया है कि सुरक्षा बलों के 30 जवान मारे गए हैं।

425 यात्रियों से भरी जाफर एक्सप्रेस पर बलूच लिबरेशन आर्मी ने किया हमला

बता दें कि मंगलवार को बलूच लिबरेशन आर्मी ने 425 यात्रियों से भरी जाफर एक्सप्रेस पर हमला किया था। ट्रेन गुडालार और पीरू कुनरी के पहाड़ी इलाकों के पास मश्कफ सुरंग से गुजर रही थी। इसी दौरान बम धमाका कर उसे रोका गया और यात्रियों को बंधक बना लिया गया।

पाकिस्तान सरकार ने भेजे 200 ताबूत

पाकिस्तान की सेना बंधकों को छुड़ाने में जुटी है। इस बीच सरकार ने सबसे खराब स्थिति की आशंका को देखते हुए 200 ताबूत भेजे हैं। ऐसी जानकारी सामने आई है कि बलूच विद्रोहियों ने पांच अलग-अलग स्थानों पर 200 से अधिक बंधकों को रखा है। यह इलाका बेहद दुर्गम है, जिसके चलते सैनिकों को बचाव अभियान चलाने में परेशानी आ रही है।

जाफर एक्सप्रेस पर हमला क्वेटा और सिबी के बीच के पहाड़ी क्षेत्र बोलन में हुआ है। यहां कई रेलवे सुरंग हैं। पाकिस्तान रेलवे ने बंधक बनाए गए लोगों के परिवारों को जानकारी देने के लिए पेशावर और क्वेटा रेलवे स्टेशनों पर इमरजेंसी हेल्प डेस्क बनाए हैं। बलूच उग्रवादियों ने महिलाओं और बच्चों को रिहा करने का दावा किया है। वहीं, पाकिस्तान के आंतरिक राज्य मंत्री तलाल चौधरी ने कहा कि बंधकों को आतंकवादियों की सद्भावना के कारण नहीं, बल्कि सुरक्षा बलों के हस्तक्षेप के कारण रिहा किया गया।