सार
बांग्लादेश में महिला को हिजाब न पहनने पर कड़ी सजा दी गई। पहले उसे डंडे से पीटा गया और फिर कान पकड़कर भरे बाजार उठक बैठक कराई गई। घटना का वीडियो वायरल हो रहा है।
वर्ल्ड न्यूज। बांग्लादेश में अफगानी कानून और कट्टरता देखने को मिली है। यहां महिला हिंसा का मामला आपको चिंता में डाल देगा। समुद्र तट के पास स्थित प्रसिद्ध कॉक्स बाजार में जमात-ए-इस्लामिया की एक छात्रा शाखा छत्रशिबिर के सदस्य ने इस्लामी ड्रेस कोड के तहत हिजाब न पहनने पर एक महिला के साथ अभद्रता की। उसने महिला को पहले डंडे से पीटा और फिर भरे बाजार में उसे कान पकड़कर उठक बैठक कराई। छात्रशिबिर के सदस्य महिलाओं को निशाना बनाकर शरिया पुलिसिंग का अपना कानून लागू कर रहे हैं। सोशल मीडिया पर इस घटना का वीडियो भी वायरल हो रहा है। सोशल मीडिया यूजर ने घटना की निंदा की है।
कहीं छड़ी से पीटा तो कहीं उठक बैठक कराई
देश में फोरोकुल इस्लाम जो कि शिबिर के कैडर के रूप में पहचाना जाता है इन दिनों कथित तौर पर किसी महिला को अकेले घर से बाहर जाते या फिर बिना बुर्का या हिजाब के घर से बाहर देखे जाने पर छड़ी से हमला करता है। इससे पूरे देश की महिलाओं में आक्रोश है। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर वायरल हुए वीडियो में दिख रहा है कि कहीं महिलाओं को छड़ी से पीटा जा रहा है तो कहीं उनके उठक बैठक कराई जा रही है।
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इस्लाम, जो कि चटगांव में चुनती हकीमिया कामिल ऑनर्स-मास्टर्स मदरसा से जुड़ा हुआ है, ने इन हमलों को रिकॉर्ड कर इनके फुटेज को फेसबुक पर पोस्ट किया है। वीडियो ने बांग्लादेश में चरमपंथ की बढ़ती लहर की आशंका भी जताई है। सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो की तुलना कुछ यूजर्स ने तालिबान नियंत्रित अफगानिस्तान से की है।
सोशल मीडिया पर यूजर्स ने निकाला गुस्सा
सोशल मीडिया यूजर्स ने घटना को लेकर नाराजगी जताई है। एक यूजर ने लिखा है, ‘ बुर्का या हिजाब न पहनने पर कॉक्स बाजार में लड़कियों को कट्टरपंथी समूहों की ओर से निशाना बनाया जाना परेशानी वाली रिपोर्ट है। क्या हम अफगानिस्तान की तरह चरमपंथ में यहां बढ़ोतरी देख रहे हैं। इसकी निंदा की जानी चाहिए। एक अन्य यूजर ने लिखा है, ’बांग्लादेश का अंत अफगानिस्तान की तरह होना तय था। यह सिर्फ धर्मनिरपेक्ष सरकार है जिसने इस प्रक्रिया को इतने लंबे समय तक रोक दिया'।
कट्टरपंथ की बढ़ती आशंका ने देश में महिला सुरक्षा और धार्मिक स्वतंत्रता को मुश्किल में डाल दिया है। बांग्लादेश में पूर्व प्रधान मंत्री शेख हसीना के निष्कासन के बाद अस्थिरत माहौल के बीच यह हमला निश्चित तौर पर चिंता खड़ी करता है।