अल्ट न्यूज के को-फाउंडर मोहम्मद जुबैर (Mohammed Zubair) 24 दिनों के बाद जेल से बाहर आ गए हैं। सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें सभी मामलों में जमानत दे दी थी। जुबैर को 27 जून को दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार किया था।
सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने अल्ट न्यूज के को-फाउंडर मोहम्मद जुबैर (Mohammad Zubair) को यूपी में दर्ज सभी केस में जमानत दे दी। कोर्ट ने जुबैर पर दर्ज केस की जांच के लिए गठित यूपी पुलिस की एसआईटी को भी भंग कर दिया।
ऑल्ट न्यूज के सह संस्थापक मोहम्मद जुबैर की याचिका पर बुधवार को सुप्रीम कोर्ट सुनवाई करेगा। कोर्ट ने मोहम्मद जुबैर को आंशिक राहत देते हुए यूपी पुलिस को यह आदेश दिया है कि अगली सुनवाई तक वह उनके खिलाफ किसी मामले में कोई कार्रवाई न की जाए।
पटियाला हाउस कोर्ट के जज देवेंद्र कुमार जांगला ने अल्ट न्यूज के सह-संस्थापक मोहम्मद जुबैर को 50,00 रुपए के मुचलके पर जमानत दे दी। कोर्ट ने जुबैर को अनुमति के बिना देश नहीं छोड़ने के लिए कहा है।
पत्रकार मोहम्मद जुबैर की मुश्किले लगातार बढ़ती जा रही है। हाथरस कोर्ट ने जुबैर को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा है। इनके खिलाफ दो मुकदमे दर्ज है और दोनों की जांच एसआइटी कर रही है। इतना ही नहीं जुबैर के खिलाफ राज्य के कई शहरों में भी मुकदमे दर्ज है।
लखीमपुर कोर्ट ने मोहम्मद जुबैर को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया है। यह मुकदमा एक प्राइवेट न्यूज चैनल ने ट्वीट के खिलाफ दर्ज करवाया था। जिसको लेकर सुनवाई जारी है। जुबैर की जमानत अर्जी पर अब 13 जुलाई को सुनवाई होगी।
सीतापुर जेल से आल्ट न्यूज चैनल के सह संस्थापक जुबैर को बाहर निकाला गया। उसे पूछताछ के बाद बेंगलुरु भी ले जाया जा सकता है। पुलिस उसके मोबाइल और लैपटॉप को रिकवर करने की तैयारी कर रही है।
ऑल्ट न्यूज के को-फाउंडर मोहम्मद जुबैर को बीते दिनों पुलिस ने हिरासत में लेने के बाद अरेस्ट कर लिया था। धर्म संबंधित विवादित ट्वीट करने के आरोप मोहम्मद जुबैर की गिरफ्तारी को लेकर कई मानवाधिकार संगठनों ने आपत्ति जताई है। जर्मनी ने गुरुवार को जुबैर की गिरफ्तारी पर कड़ी टिप्पणी की है।
उदयपुर हत्याकांड के मुख्य आरोपी रियाज मोहम्मद के साथ बीजेपी नेता गुलाबचंद कटारिया की फोटो वायरल हो रही है। कांगेस ने इसके बहाने बीजेपी को आड़े हाथों लिया है। वहीं अब कटारिया ने जवाबी हमला बोला है।
ऑल्ट न्यूज के मोहम्मद जुबैर को लेकर पुलिस सीतापुर पहुंची। उनके खिलाफ ट्वीट के जरिए धार्मिक भावनाएं आहत करने को लेकर केस दर्ज किया गया था। मामले में पुलिस ने उस पर कुछ धाराएं और बढ़ाई हैं।