'लॉकडाउन से चौपट हुई इकोनॉमी, बोलने से लोगों को लगता है डर', राजीव बजाज की राहुल गांधी से बातचीत

कांग्रेस के नेता राहुल गांधी कोरोना महामारी और लॉकडाउन के बाद पैदा हुए हालात को लेकर लगातार लोगों से चर्चा कर रहे हैं। इसी क्रम में उन्होंने उद्योगपति राजीव बजाज से भी कई मुद्दों पर चर्चा की।

Asianet News Hindi | Published : Jun 4, 2020 7:06 AM IST / Updated: Jun 05 2020, 11:32 AM IST

बिजनेस डेस्क। कांग्रेस के नेता राहुल गांधी कोरोना महामारी और लॉकडाउन के बाद पैदा हुए हालात को लेकर लगातार लोगों से चर्चा कर रहे हैं। इसी क्रम में उन्होंने उद्योगपति राजीव बजाज से भी कई मुद्दों पर चर्चा की। कोरोना संकट के कारण देश की अर्थव्यवस्था पूरी तरह चरमरा गई है। बजाज ऑटो के मैनेजिंग डायरेक्टर राजीव बजाज से बातचीत के दौरान राहुल गांधी ने कहा कि लॉकडाउन से अर्थव्यवस्था पूरी तरह बर्बाद हो गई है और आम लोगों में डर पैदा हो गया है। लोग सच्चाई कहने में डरने लगे हैं। राहुल गांधी ने कहा कि जब स्थिति बहुत बिगड़ गई तो केंद्र सरकार ने राज्यों को उनके हाल पर छोड़ दिया है और अपनी जिम्मेदारी निभाने से कतरा रही है। 

दुनिया में कहीं ऐसा लॉकडाउन नहीं हुआ
राजीव बजाज से बातचीत के दौरान राहुल गांधी ने कहा कि इस तरह की स्थिति वर्ल्ड वॉर के दौरान भी पैदा नहीं हुई थी। किसी ने नहीं सोचा था कि इस तरह का लॉकडाउन लगा दिया जाएगा। इस पर राजीव बजाज ने कहा कि ऐसा लॉकडाउन कहीं नहीं लगाया गया है। हमारी दुनिया के कई देशों में दोस्तों से बात होती है। वहां बाहर निकलने की अनुमति थी। राजीव बजाज ने कहा कि भारत में ड्रैकोनियन लॉकडाउन लगा दिया गया। इस बीच, कारोबार पूरी तरह चौपट हो गया।

करोड़ों मजदूरों को झेलनी पड़ी मुश्किल
राहुल गांधी ने कहा कि जो हालात बन गए, उससे कुछ लोग ही निपट सकते हैं, लेकिन करोड़ों मजदूरों को काफी मुश्किल झेलनी पड़ी। इस पर राजीव बजाज ने कहा कि भारत ने इस महामारी से निपटने के लिए सही तरीके से कदम नहीं उठाया। वह वेस्टर्न कंट्रीज की तरफ देखता रहा, जबकि ईस्ट के देशों ने इस बीमारी से बेहतर तरीके से निपटा। राजीव बजाज ने कहा कि इस बीमारी से अमीर देशों के लोग प्रभावित हुए। इसलिए इसे मीडिया में काफी जगह मिली, जबकि अफ्रीका में रोज 8000 बच्चे भूख से मरते हैं, लेकिन इसकी कहीं चर्चा नहीं होती। सख्त लॉकडाउन से इकोनॉमी बर्बाद हो गई। उन्होंने कहा कि भारत को जापान और स्वीडन जैसी नीति अपनानी चाहिए थी।

राहुल ने लॉकडाउन को बताया फेल
राजीव बजाज से बातचीत के दौरान राहुल गांधी ने लॉकडाउन को पूरी तरह फेल बताया। उन्होंने कहा कि राज्यों को ताकत देनी चाहिए थी और केंद्र सरकार को राज्यों को पूरा समर्थन देना चाहिए था। लेकिन केंद्र सरकार अपनी जिम्मेदारी को निभा नहीं सकी। अब कोरोना के मामले ज्यादा बढ़ रहे हैं। राजीव बजाज ने कहा कि जब लोग हेल्मेट नहीं पहनते हैं तो कुछ नहीं होता, लेकिन अभी मास्क नहीं पहनने पर लोगों को सरेआम बेइज्जत किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि दुनिया भर में सरकारें आम लोगों को सीधे पैसा दे रही हैं, लेकिन यहां गरीबों को पैसा नहीं दिया जा रहा है। राहुल गांधी ने कहा कि मजदूरों को पैसा नहीं देने की बात समझ में नहीं आ रही है। यह एक कठिन समय है। राजीव बजाज का कहना था कि इस वक्त मजदूरों को 6 महीने तक पैसा दिया जाता तो बाजार में डिमांड बढ़ सकती थी।

लोगों को डरने की जरूरत नहीं
राजीव बजाज ने कहा कि लोग बोलने में डरते हैं। उन्होंने कहा कि बात करने से पहले उन्हें भी चेताया गया था, लेकिन हम बोलते हैं। मेरे पिता भी निडर होकर बोलते हैं। उन्होंने कहा कि अभी लोगों में डर है कि कोरोना से मौतें हो रही हैं, लेकिन यह सच नहीं है। लोगों के दिमाग से डर निकालना होगा। पीएम मोदी को आज पूरे देश से कहना चाहिए कोरोना से डरने की जरूरत नहीं है। इस पर राहुल ने कहा कि अब पहले वाली बात नहीं रही कि लोग कुछ भी बोल दें, लेकिन बजाज में दम है। गौरतलब है कि कोरोना संकट पर राहुल गांधी कई एक्सपर्ट्स से बातचीत कर रहे हैं। उन्होंने अर्थशास्त्री रघुराम राजन और नोबेल विजेता अभिजीत बनर्जी से भी कई मुद्दों पर चर्चा की थी।   

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