छत्तीसगढ़ विधानसभा में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए बजट पेश करते हुए मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राज्य के अधिकारियों और कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना को बहाल करने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि पुरानी पेंशन योजना को बहाल करने की मांग की जा रही थी। वहीं शासकीय अधिवक्ताओं के मानदेय में वृद्धि की भी घोषणा की।
रायपुर : चुनावी साल से पहले छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) की भूपेश सरकार ने सरकारी कर्मचारियों को बड़ा तोहफा दिया है। राज्य में पुरानी पेंशन योजना लागू करने का ऐलान मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) ने किया है। उनके इस ऐलान के बाद से कर्मचारियों में खुशी का माहौल है। छत्तीसगढ़ विधानसभा में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए बजट (Chhattisgarh Budget 2022 ) पेश करते हुए मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राज्य के अधिकारियों और कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना को बहाल करने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि पुरानी पेंशन योजना को बहाल करने की मांग की जा रही थी। वहीं शासकीय अधिवक्ताओं के मानदेय में वृद्धि की भी घोषणा की।
क्या है पुरानी पेंशन योजना
ओल्ड पेंशन स्कीम (OPS) में पेंशन के लिए वेतन से कोई कटौती नहीं होती है
पुरानी पेंशन योजना में जीपीएफ जनरल प्रोविडेंट फंड (GPF) की सुविधा है।
रानी पेंशन योजना एक सुरक्षित पेंशन योजना है। इसका भुगतान सरकार की ट्रेजरी के जरिए किया जाता है।
पुरानी पेंशन योजना में रिटायरमेंट के समय अंतिम बेसिक सैलरी के 50 फीसदी तक निश्चित पेंशन मिलती है।
पुरानी पेंशन योजना में रिटायरमेंट के बाद 20 लाख रुपये तक ग्रेच्युटी मिलती है।
पुरानी पेंशन योजना में 6 माह बाद मिलने वाला महंगाई भत्ता (DA) लागू होता है।
पुरानी पेंशन योजना में सेवानिवृत्ति पर GPF के ब्याज पर किसी प्रकार का इनकम टैक्स नहीं लगता है।
पुरानी पेंशन स्कीम में नौकरी के दौरान मौत होने पर फैमिली पेंशन का प्रावधान है।
पुरानी पेंशन योजना में रिटायरमेंट (सेवानिवृत्ति) के समय पेंशन प्राप्त करने GPF से कोई निवेश नहीं करना पड़ता है।
क्या है नई पेंशन योजना (NPS)
न्यू पेंशन स्कीम में कर्मचारी के वेतन से 10% (बेसिक+DA) की कटौती की जाती है।
न्यू पेंशन स्कीम में जनरल प्रोविडेंट फंड (GPF) की सुविधा को नहीं जोड़ा गया है।
नई पेंशन योजना शेयर बाजार आधारित है। बाजार की चाल के आधार पर ही भुगतान होता है।
न्यू पेंशन स्कीम में रिटायरमेंट (सेवानिवृत्ति) के समय निश्चित पेंशन की कोई गारंटी नहीं है।
न्यू पेंशन स्कीम में रिटायरमेंट (सेवानिवृत्ति) के समय ग्रेच्युटी का अस्थाई प्रावधान है।
न्यू पेंशन स्कीम में 6 माह बाद मिलने वाला महंगाई भत्ता लागू नहीं होता।
न्यू पेंशन स्कीम में सेवानिवृत्ति (रिटायरमेंट) पर शेयर बाजार के आधार पर जो पैसा मिलेगा उस पर टैक्स देना पड़ेगा।
न्यू पेंशन स्कीम में सर्विस के दौरान मृत्यु पर फैमिली पेंशन मिलती है, लेकिन योजना में जमा पैसे सरकार की हो जाती है।
न्यू पेंशन स्कीम में सेवानिवृत्ति पर पेंशन पाने न्यू पेंशन स्कीम फंड से 40 फीसदी रकम निवेश करना होता है।
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किन-किन राज्यों में उठी मांग
पांच राज्यों में हुए चुनाव में यूपी में इसकी खूब मांग देखने को मिली। चुनाव में यह सबसे बड़े मुद्दों में से एक था। जिन राज्यों में आगामी कुछ महीनों में चुनाव हैं, वहां भी इसकी मांग उठने लगी है। असम, केरल, आंध्र प्रदेश और हिमाचल प्रदेश ने पुरानी पेंशन को बहाल करने की मांग को लेकर रिव्यू कमेटी का गठन किया है। राजस्थान में पुरानी पेंशन की बहाली की घोषणा के बाद से बीजेपी शासित राज्य भारी दवाब में आ गए हैं।
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