दो-तीन साल तक छोटे बच्चों के लिए माँ का दूध बहुत ज़रूरी होता है. अगर माँ का दूध पर्याप्त न हो, तो कुछ डॉक्टरों की सलाह पर फॉर्मूला दूध का इस्तेमाल किया जाता है.
फॉर्मूला दूध के बारे में ज़्यादा जानकारी न होने पर लोग गाय का पैकेट वाला दूध देना शुरू कर देते हैं. एक साल से कम उम्र के बच्चों को गाय का दूध नहीं देना चाहिए, ऐसा डॉक्टर कहते हैं.
बच्चों को विटामिन डी और कैल्शियम जैसे पोषक तत्व दूध से मिलते हैं. लेकिन गाय के दूध को बच्चों के लिए पचाना मुश्किल होता है, खासकर एक साल से कम उम्र के बच्चों के लिए गाय का दूध उपयुक्त नहीं है.
गाय का दूध देने से बच्चे को आंतों में रक्तस्राव का खतरा हो सकता है. ज़्यादातर यह गुर्दे पर दबाव डालता है.
अगर बच्चे को गाय का दूध पसंद नहीं आता है, तो इसके लक्षण मतली, पेट दर्द, पेट फूलना या गैस बनना हो सकते हैं.
जब बच्चे चलना या खेलना शुरू कर देते हैं, तब गाय का दूध देने पर वे इसे आसानी से पचा सकते हैं. बच्चों को बिना स्वाद वाला, बिना मीठा गाय का दूध दिया जा सकता है.
जिनके घर में गाय या बकरी होती है, वे कच्चा दूध पिलाते हैं. कच्चे दूध में बैक्टीरिया और सूक्ष्म जीव होते हैं. इससे बच्चों को बीमारी हो सकती है.