चीन क्यों फिंगर एरिया से पीछे नहीं हट रहा? आज दोनों देशों के प्रमुख नेता और आर्मी अफसर की मीटिंग

भारत और चीन के बीच पिछले 3 महीने से विवाद जारी है। इस बीच आर्मी लेवल की कई राउंड की बातचीत हुई। लेकिन इसके बाद भी चीन लद्दाख में फिंगर एरिया, देप्सांग और गोगरा से अपने सैनिक पीछे नहीं हटा रहा। अब इस मुद्दे पर देशों के प्रमुख नेताओं और आर्मी अफसरों की मीटिंग होगी। हालांकि मीटिंग में कौन से नेता शामिल होंगे, यह जानकारी नहीं मिल पाई है। 

Asianet News Hindi | Published : Aug 17, 2020 11:34 AM IST

नई दिल्ली. भारत और चीन के बीच पिछले 3 महीने से विवाद जारी है। इस बीच आर्मी लेवल की कई राउंड की बातचीत हुई। लेकिन इसके बाद भी चीन लद्दाख में फिंगर एरिया, देप्सांग और गोगरा से अपने सैनिक पीछे नहीं हटा रहा। अब इस मुद्दे पर देशों के प्रमुख नेताओं और आर्मी अफसरों की मीटिंग होगी। हालांकि मीटिंग में कौन से नेता शामिल होंगे, यह जानकारी नहीं मिल पाई है। 

3 महीने से फिंग एरिया में हैं चीनी सैनिक
न्यूज एजेंसी के मुताबिक, चीन के सैनिक 3 महीने से पिंग इलाके में जमे हुए हैं। उन्होंने विवादित इलाके से पीछे हटने की बजाय वहां बंकर बनाकर अपने बेस बढ़ाना शुरू कर दिया है। 

भारतीय सैनिकों में पेट्रोलिंग में डाल रहा रुकावट
भारत और चीन के बीच मेजर जनरल लेवल की बातचीत दौलत बेग ओल्डी में करीब एक हफ्ते पहले हुई थी। मीटिंग में भारत ने चीन से कहा था कि पेट्रोलिंग प्वॉइंट 10,11,12,13 पर भारतीय जवानों की गश्त में रुकावट की कोशिश नहीं होनी चाहिए। 

उल्टा चीन पीछे हटने के लिए कह रहा
उल्टा चीनी का कहना है कि भारत को दौलत बेग ओल्डी और पूर्वी लद्दाख सेक्टर में पीछे हटना चाहिए। हालांकि भारत साफ कर चुका है कि उसने अपने इलाके में कंस्ट्रक्शन किया है।

- दौलत बेग ओल्डी के दूसरी तरफ चीन ने लंबी रेंज की तोपें और बख्तरबंद गाड़ियां तैनात कर रखी हैं। हालांकि चीन की किसी भी कार्रवाई के लिए भारत तैयार है। 

चीन क्यों नहीं हट रहा पीछे
चीन फिंगर एरिया से हटने के लिए तैयार नहीं है, इसके पीछे उसकी मंशा है कि वह  फिंगर-5 के आस-पास 30 सैनिकों के जरिए निगरानी रखना चाहता है। लेकिन  भारत ने साफ कर दिया है कि विवाद वाले सभी प्वॉइंट से चीन को पूरी तरह हटना पड़ेगा।

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