राजस्थान का इतिहास पूरी दुनिया में जाना जाता है। लेकिन अब उदयपुर के पुरातत्व विभाग की टीम को राजस्थान में 1.70 लाख साल पुराना इतिहास मिला है। ऐसे पत्थर मिले हैं जो 1.70 लाख साल पुराने हैं। टीम इन पत्थरों की जांच करने में जुट गया है।
उदयपुर. राजस्थान की धरती न जाने अपने आप ने कितने ही इतिहास और कहानियां छुपाए हुए हैं। यहां कई बार खुदाई के दौरान अनोखी चीजें मिली है। इसी बीच राजस्थान में बूंदी जिले में करीब डेढ़ लाख साल पहले की सभ्यता मिलने का दावा किया गया है। जहां कर्मचारियों को पुरापाषाण युग पत्थरों के मिले हैं। इसके अलावा गुफाओं में शेल चित्र भी मिले हैं।
बूंदी गई थी उदयपुर के पुरातत्व विभाग की टीम
उदयपुर के पुरातत्व विभाग की टीम राजस्थान के बूंदी जिले के अस्तोली गांव के पास गई थी। अब पुरातत्व विभाग की टीम ने दावा किया है कि यह उपकरण अश्युलिन उपकरण है। जो करीब 1.70 लाख साल पुराने हैं। उस समय आदिमानव गुफाओं और पानी के पास कंदरा ने रहा करते थे। वह जंगल में शिकार करके अपना भोजन तो इकट्ठा कर लेते लेकिन फिर उसे पत्थरों के औजार की सहायता से ही आग जलाकर तैयार करते थे। कई बार तो शिकार भी इसी के जरिए किया जाता था।
यह पत्थर कोई आम पत्थर नहीं....
इतना ही नहीं यह पत्थर कोई आम पत्थर नहीं है बल्कि अलग-अलग तरीके के हैं इनमें कोई त्रिभुज के आकार का है तो कोई अंडे के आकार का तो कोई बादामाकार का। यह सभी हथियार बलुआ पत्थरों से तैयार किए गए हैं। इस बारे में पुरातत्व विभाग की टीम का कहना है कि स्थानीय लोग इन पत्थरों का निमाड़ी काम में उपयोग कर रहे हैं जो वाकई में एक चिंता का विषय है। यदि इनका संरक्षण नहीं किया गया तो यह धीरे-धीरे खत्म हो जाएंगे। ऐसे में जरूरी है कि इनके उपयोग पर रोक लगाकर धीरे-धीरे ऐसे स्थानों को पर्यटक स्थल के रूप में विकसित किया जाना चाहिए।
हजारों लाखों साल पुरानी भगवान की मूर्तियां भी मिल चुकी
इस तरह का यह पहला कोई मामला नहीं है जब राजस्थान में कितनी पुरानी कोई वस्तु मिली हो इसके पहले राजस्थान में कई बार खुदाई के दौरान हजारों लाखों साल पुरानी भगवान की मूर्तियां भी मिल चुकी है। हालांकि सभी की जांच होती है। इसके बाद ही तय किया जाता है कि आखिर का यह है कितनी पुरानी।