राजस्थान के युवा सांसद राजकुमार रोत ने भारतीय आदिवासी पार्टी से चुने जाने के बाद राजस्थान और मध्य प्रदेश सरकार को चेतावनी दी है। वे भील प्रदेश की मांग को लेकर संघर्षरत हैं और सोशल मीडिया पर काफी सक्रिय हैं।
जयपुर. राजस्थान में हाल ही में भारतीय आदिवासी पार्टी से चुनकर आए युवा सांसद राजकुमार रोत ने अब मध्य प्रदेश में सरकार को चेतावनी दी है । इससे पहले उन्होंने राजस्थान में सरकार को धमकाया था। एमपी की मोहन यादव सरकार पर गंभीर आरोप लगाते हुए सोशल मीडिया पर काफी कुछ लिखा है। राजकुमार के एक मैसेज काफी वायरल किया जा रहा है ।
कौन हैं सासंद राजकुमार, जिनसे बीजेपी-कांग्रेस को खतरा
दरअसल, राजस्थान में भारतीय आदिवासी पार्टी से सांसद चुने गए राजकुमार रोत हैं। उनकी पार्टी से दो विधायक भी चुने गए हैं और अब वह अपनी पार्टी से पहले सांसद हैं। वह खुद को हिंदू कहलवाना पसंद नहीं करते, उनका कहना है हम लोग आदिवासी हैं हमें आदिवासी ही कहा जाए ।अब वह राजस्थान, मध्य प्रदेश और आसपास के दो अन्य राज्यों के कई जिलों को मिलाकर नया भील प्रदेश यानी आदिवासी प्रदेश बनाने की मांग कर रहे हैं । राजस्थान सरकार ने इस मांग को सिरे से खारिज कर दिया है। भारतीय आदिवासी पार्टी.... कांग्रेस और बीजेपी के बाद तीसरी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभर रही है। उनके दो विधायक हैं , जो विधानसभा राजस्थान में नया प्रदेश बनाने की मांग उठ चुके हैं ।
मध्य प्रदेश सरकार पर लगाया युवाओं को गुमराह करने का आरोप, यह सब लिखा....
राजस्थान में भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस पार्टी दोनों से ही दूरी बनाकर रखने वाले भारतीय आदिवासी पार्टी के सांसद राजकुमार ने अब मध्य प्रदेश सरकार के लिए सोशल मीडिया पर काफी कुछ लिखा है और मध्य प्रदेश के सीएम की फोटो भी शेयर की है उन्होंने लिखा है कि...मध्यप्रदेश के युवाओं को गुमराह कर अपने व्यक्तिगत हितों के लिये कुछ लोग कांग्रेस में चले गये, और ये अब बीजेपी में चले गये ,लेकिन में मध्यप्रदेश के तमाम आदिवासी एव अन्य शोषित पीड़ित समुदाय के युवा साथीयो से कहना चाहूँगा कि आपको गबराने की ज़रूरत नहीं है,मज़बूत टिकाऊ विकल्प के रूप में हम आपके साथ खड़े है, और बहुत जल्द मध्यप्रदेश में भी कमलकोंग्रेस का रगड़ा निकालेंगे! जोहार उलगुलान !
गुजरात , मध्य प्रदेश , राजस्थान में कर चुके हैं आंदोलन
राजकुमार के इस मैसेज को लगातार सोशल मीडिया पर शेयर किया जा रहा है । हाल ही में भील प्रदेश बनाने को लेकर जो आंदोलन किया गया था , उसमें वह इकलौते सांसद थे। गुजरात , मध्य प्रदेश , राजस्थान और एक अन्य जिले से भी कई नेताओं ने इस आंदोलन में भाग लिया था। उनका कहना है कि भील प्रदेश बनाने की मांग अब प्रधानमंत्री तक लेकर जाएंगे।
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