सपा की तरफ से कहा गया कि फरसा गिरा नहीं है उसको सौंदर्यीकरण के नीचे उतरवाया गया है। वहीं इस मामले पर बीजेपी प्रवक्ता राकेश त्रिपाठी ने कहा कि सपा चुनावी हिंदू बनी है। इस फरसे के गिरने से सपा का भष्टाचार सामने आ गया है। साथ ही कहा कि इसी फरसे से बीजेपी का नाश हो जाएगा।
लखनऊ: भगवान परशुराम के मंदिर और भगवान के फरसे के अनावरण के अभी मात्र 8 दिन ही बीते थे की भगवान परशुराम का फरसा गिरकर टूट गया। समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) ने बीते 2 जनवरी को लखनऊ में भगवान परशुराम की मूर्ति और भगवान परशुराम के प्रमुख अस्त्र फरसे की अनावरण किया था। हलांकि इस मामले पर सपा की तरफ से कहा गया कि फरसा गिरा नहीं है उसको सौंदर्यीकरण के नीचे उतरवाया गया है।
वहीं इस मामले पर बीजेपी प्रवक्ता राकेश त्रिपाठी ने कहा कि सपा चुनावी हिंदू बनी है। इस फरसे के गिरने से सपा का भष्टाचार सामने आ गया है। साथ ही कहा कि इसी फरसे से बीजेपी का नाश हो जाएगा।
फरसे की ऊंचाई 68 फ़ीट
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे के निकट ही पूजा अर्चना के पश्चात भगवान परशुराम का मंदिर और मंदिर के बाहर स्थापित उनके फरसे का अनावरण किया था। भगवान परशुराम के इस फरसे की ऊंचाई 68 फ़ीट है जो कि अपने आप में एक चर्चा का विषय है। अखिलेश यादव ने इस फरसे का अनावरण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे के शिलान्यास के बाद बीते 2 जनवरी को एक्सप्रेस-वे के निकट ही किया था।
हालांकि फरसे के गिरकर टूटने के पीछे के असल कारणों का पता अभी नहीं चल सका हैं। लेकिन इसके पीछे के कई कयास ज़रूर लगाए जा रहे हैं, कुछ का कहना है कि फरसे के बड़े आकार के चलते यह गिरकर टूटा है वहीं लोग इसे एक साजिश के तहत किया गया काम बता रहे हैं।
सपा प्रमुख अखिलेश यादव द्वारा भगवान परशुराम के इस मंदिर और भव्य 68 फीट ऊंचे फरसे के अनावरण के बाद राजनीतिक गलियारों में बहुत सी अटकलें तेज हो गई थी। जिसमें कई लोगों का कहना था कि अखिलेश यादव ने ब्राह्मणों को अपनी ओर करने और उन्हें खुश करने के लिए मंदिर और फरसे को स्थापित करवाया है।
अनावरण के 8 दिन बाद अखिलेश का फरसा हुआ धड़ाम, देखें वीडियो