बांग्लादेश: हाईकोर्ट ने ISKCON पर बैन लगाने से किया इनकार, केंद्र के साथ ममता

Published : Nov 28, 2024, 04:50 PM ISTUpdated : Nov 28, 2024, 05:05 PM IST
Bangladesh Iskcon

सार

बांग्लादेश हाईकोर्ट ने इस्कॉन पर प्रतिबंध लगाने की मांग वाली याचिका खारिज कर दी। हालांकि, कोर्ट ने सरकार से इस्कॉन की गतिविधियों पर नज़र रखने को कहा है।

ढाका। बांग्लादेश के हाईकोर्ट ने गुरुवार को ISKCON की गतिविधियों पर बैन लगाने से इनकार कर दिया। कोर्ट ने इस संबंध में दायर याचिका खारिज कर दी। एक वकील ने बुधवार को ISKCON से संबंधित कुछ समाचार पत्रों की रिपोर्ट पेश कर हाईकोर्ट से ISKCON पर प्रतिबंध लगाने की मांग की थी।

स्थानीय समाचार पत्र द डेली स्टार के अनुसार कोर्ट ने अटॉर्नी जनरल से इस्कॉन की हालिया गतिविधियों के संबंध में सरकार द्वारा उठाए गए कदमों के बारे में जानकारी देने को कहा। हिंदू नेता चिन्मय कृष्ण दास को बीते दिनों गिरफ्तार किया गया था। उन्हें पहले इस्कॉन से निष्कासित कर दिया गया था। उनकी गिरफ्तारी के बाद मंगलवार को झड़पें हुईं। इसमें सहायक सरकारी वकील एडवोकेट सैफुल इस्लाम की हत्या कर दी गई थी।

इसके बाद वकील ने ISKCON पर बैन लगाने की याचिका हाईकोर्ट में लगाई। गुरुवार को हाईकोर्ट में याचिका पर सुनवाई शुरू हुई तो अटॉर्नी जनरल ने कोर्ट द्वारा मांगी गई जानकारी जस्टिस फराह महबूब और जस्टिस देबाशीष रॉय चौधरी की पीठ के सामने रखी।

वकील सैफुल इस्लाम अलिफ हत्या केस में 33 गिरफ्तार

अतिरिक्त अटॉर्नी जनरल अनीक आर हक और डिप्टी अटॉर्नी जनरल असद उद्दीन ने हाईकोर्ट को बताया कि वकील सैफुल इस्लाम अलिफ की हत्या और इस्कॉन की गतिविधियों के संबंध में तीन अलग-अलग मामले दर्ज किए गए हैं। इन मामलों में 33 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इसपर पीठ ने उम्मीद जताई कि सरकार कानून और व्यवस्था की स्थिति तथा बांग्लादेश के लोगों के जीवन और संपत्तियों की सुरक्षा के बारे में सतर्क रहेगी।

बता दें कि भारत ने मंगलवार को चिन्मय कृष्ण दास की गिरफ्तारी और जमानत से इनकार किए जाने पर गहरी चिंता व्यक्त की थी। बांग्लादेश की सरकार से हिंदुओं और अन्य सभी अल्पसंख्यकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने का आग्रह किया था।

सुप्रीम कोर्ट के वकीलों ने की इस्कॉन पर बैन लगाने की मांग

दूसरी ओर बांग्लादेश के सुप्रीम कोर्ट के वकीलों के एक समूह ने बुधवार को बांग्लादेश सरकार को एक कानूनी नोटिस भेजा था। इसमें इस्कॉन पर प्रतिबंध लगाने की मांग की गई है। इसे "कट्टरपंथी संगठन" बताया गया है। 10 वकीलों की ओर से अल मामुन रसेल द्वारा भेजे गए नोटिस में एडवोकेट इस्लाम की हत्या के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ मुकदमा चलाने की मांग की गई है।

पीएम नरेंद्र मोदी से मिले एस जयशंकर, बांग्लादेश में हिंसा पर दी जानकारी

विदेश मंत्री एस जयशंकर ने गुरुवार को संसद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार उन्होंने पीएम को बांग्लादेश में हिंदुओं के खिलाफ हो रही हिंसा के बारे में जानकारी दी है। जयशंकर 24 से 26 नवंबर को जी 7 विदेश मंत्रियों की बैठक में भाग लेकर इटली से लौटे हैं। उन्होंने प्रधानमंत्री को कार्यक्रम के परिणाम के बारे में भी जानकारी दी।

गौरतलब है कि बांग्लादेश का हिंदू समुदाय अल्पसंख्यक है। यह 17 करोड़ की आबादी का केवल लगभग 8 प्रतिशत है। 5 अगस्त को पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की अवामी लीग सरकार के पतन के बाद से हिंदुओं के खिलाफ 200 से अधिक हमले हुए हैं।

ममता बनर्जी बोलीं बांग्लादेश मामले में केंद्र के साथ

बांग्लादेश में हिंदुओं के खिलाफ हो रहे अत्याचार के विरोध में कोलकाता में विरोध प्रदर्शन हुए हैं। इस बीच पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने इस संबंध में बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा है कि बांग्लादेश मामले में वह केंद्र सरकार के साथ हैं। उन्होंने बंगाल में इस्कॉन के अधिकारियों से बात की है।

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