सोमवार को अश्लेषा नक्षत्र होने से सौम्य नाम का शुभ योग और इसके बाद मघा नक्षत्र होने से ध्वांक्ष नाम का अशुभ योग बन रहा है।
मौसम का मिजाज भांपने में मौसम विभाग का पूर्वानुमान भले ही यदाकदा गलत हो जाता हो, लेकिन ‘ज्योतिष’ को स्थापित विज्ञान बताते हुये एक ‘नजूमी’ का दावा है कि वह पिछले कुछ सालों से सरकार को मौसम की सटीक भविष्यवाणी से लगातार अवगत करा रहे हैं
जब सूर्य धनु से निकलकर मकर राशि में जाता है तो मकर संक्रांति (15 जनवरी) का पर्व मनाया जाता है। इसे उत्तरायण भी कहते हैं। मान्यता है कि इसी दिन से देवताओं का दिन शुरू होता है।
रविवार को माघ मास के कृष्ण पक्ष की द्वितिया तिथि है। इस दिन सूर्योदय पुष्य नक्षत्र में होगा, जो दोपहर 1.50 तक रहेगा। इसके बाद अश्लेषा नक्षत्र प्रारंभ हो जाएगा। रविवार को पुष्य नक्षत्र होने से रवि पुष्य का योग तो बन ही रहा है
मकर संक्रांति (15 जनवरी, बुधवार) से सूर्य उत्तरायण होता है, यानी दक्षिण से उत्तरी गोलार्द्ध की ओर आना शुरू होता है। इससे रातें छोटी व दिन बड़े होने लगते हैं। धर्म ग्रंथों में उत्तरायण को देवताओं का दिन भी कहते हैं।
शनिवार को पुनर्वसु नक्षत्र होने से छत्र और उसके बाद पुष्य नक्षत्र के योग से मित्र नाम के 2 शुभ योग बन रहे हैं।
13 जनवरी, सोमवार को माघ मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि है। इसे संकटा चतुर्थी भी कहते हैं। इस दिन भगवान श्रीगणेश की पूजा का विशेष महत्व है।
इस बार 11 जनवरी को शनिवार और पुष्य नक्षत्र का योग बन रहा है। अगर आपकी कुंडली में शनि दोष है तो इस दिन शानि पाताल क्रिया करने से आपकी परेशानियां दूर हो सकती हैं।
शुक्रवार को आर्द्रा नक्षत्र होने से पद्म नाम का शुभ योग और उसके बाद पुनर्वसु नक्षत्र के योग से लुंबक नाम का अशुभ योग बन रहा है।
10 जनवरी, शुक्रवार को साल का पहला चंद्रग्रहण होगा। इस ग्रहण में चंद्रमा घटता-बढ़ता नहीं दिखाई देगा, सिर्फ चंद्रमा के आगे धूल की एक परत-सी छा जाएगी।