सार
बिहार विधानसभा चुनाव जैसे-जैसे नजदीक आता जा रहा है महागठबंधन में दरारें पड़ती जा रही हैं। महागठबंधन के बड़े नेताओं रघुवंश प्रसाद सिंह, उपेन्द्र कुशवाहा, शरद यादव, मुकेश साहनी की उपेक्षा हो रही है। बिहार की जनता जानना चाहती है कि आखिर वो कौन पार्टियां हैं, जो महागठबंधन को कमजोर कर रही हैं।
पटना (Bihar) । जन अधिकार पार्टी के प्रमुख व पूर्व सांसद पप्पू यादव ने आज बड़ा बयान दिया है। अपनी पार्टी कार्यालय पर मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा कि कांग्रेस बड़ी पार्टी है। इसलिए महागठबंधन को लीड करने के लिए उसे आगे आना चाहिए। मैं इसका समर्थन करने के लिए तैयार हूं। लेकिन, नेतृत्व की कमान किसी अतिपिछड़ा या दलित नेता को मिलनी चाहिए।
महागठबंधन में पड़ती जा रही दरारें
बिहार विधानसभा चुनाव जैसे-जैसे नजदीक आता जा रहा है महागठबंधन में दरारें पड़ती जा रही हैं। महागठबंधन के बड़े नेताओं रघुवंश प्रसाद सिंह, उपेन्द्र कुशवाहा, शरद यादव, मुकेश साहनी की उपेक्षा हो रही है। बिहार की जनता जानना चाहती है कि आखिर वो कौन पार्टियां हैं, जो महागठबंधन को कमजोर कर रही हैं।
सीएम नीतीश पर चलाए चुनावी तीर
पप्पू यादव ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से सवाल किया कि भुखमरी मिटाने में बिहार 27 राज्यों में 25वें स्थान पर क्यों है? 15 साल राज करने के बाद भी बिहार देश का दूसरा सबसे गरीब राज्य क्यों है? गरीबी मिटाने में बिहार 27 राज्यों में 26वें पायदान पर है। पटना देश का सबसे प्रदूषित शहर है। राज्य के 80 फीसदी सरकारी स्कूलों में शौचालय नहीं है।
सुशील मोदी लालूफोबिया के शिकार
पप्पू यादव ने डिप्टी सीएम सुशील कुमार मोदी को भी निशाने पर लिया। कहा कि सुशील मोदी लालूफोबिया के शिकार हैं। अपने ट्वीट में सिर्फ लालू यादव की बात करते हैं। वे पिछले पांच वर्षों में किए गए अपने कार्यों का लेखा-जोखा बताएं। सृजन घोटाला, बालू माफियाओं के साथ समबन्ध और उनका भाई रियल एस्टेट का इतना बड़ा कारोबारी कैसे बना? इन सब के बारे में सुशील मोदी बिहार की जनता को बताएं।
राष्ट्रपति के देखरेख मं होना चाहिए चुनाव
जाप प्रमुख पप्पू यादव ने कहा कि बिहार में अपराध और भ्रष्टाचार चरम पर है। यहां राष्ट्रपति शासन की जरूरत है और आगामी विधानसभा चुनाव राष्ट्रपति के देख-रेख में ही होना चाहिए।