सार

कोरोना संक्रमण को बढ़ने से रोकने के लिए देशभर में अभी सिनेमाघरों को खोलने के आदेश नहीं दिए गए हैं। ऐसे में सभी फिल्में ओटीटी प्लेटफॉर्म पर रिलीज की जा रही हैं। ओटीटी प्लेटफॉर्म पर एक के बाद एक धड़ाधड़ फिल्में रिलीज की जा रही हैं और दर्शकों से उन्हें अच्छा रिस्पांस भी मिल रहा है।

मुंबई. कोरोना संक्रमण को बढ़ने से रोकने के लिए देशभर में अभी सिनेमाघरों को खोलने के आदेश नहीं दिए गए हैं। ऐसे में सभी फिल्में ओटीटी प्लेटफॉर्म पर रिलीज की जा रही हैं। ओटीटी प्लेटफॉर्म पर एक के बाद एक धड़ाधड़ फिल्में रिलीज की जा रही हैं और दर्शकों से उन्हें अच्छा रिस्पांस भी मिल रहा है। ऐसे में अब बॉबी देओल स्टारर फिल्म 'क्लास ऑफ 83' को नेटफ्लिक्स पर रिलीज किया गया है। इसमें वो अपने 25 साल के करियर में पहली बार आईपीएस ऑफिसर की भूमिका में दिखे हैं, जो कि लोगों को काफी अटरेक्ट कर रहा है। 

कहानी 

'क्लास ऑफ 83' की कहानी एस हुसैन जैदी के नॉवल 'क्लास ऑफ 83- द पनिशर्स ऑफ मुंबई' से ली गई है, जो 80 के दौर में सेट है। हालांकि, अज्ञात कारणों से फिल्म के टाइटल से द पनिशर्स ऑफ मुंबई हटा दिया गया है। दरअसल, इन्हीं पनिशर्स को बाद में एनकाउंटर स्पेशलिस्ट के नाम से जाना गया, जो 'क्लास ऑफ 83' से पढ़कर निकले थे। बहरहाल, अगर फिल्म की कहानी की बात की जाए तो ये विजय सिंह नाम के एक आईपीएस ऑफिसर की कहानी है, जिसे पनिशमेंट के तौर पर पुलिस अकेडमी का डीन बनाकर भेज दिया जाता है। एकेडमी के सबसे फिसड्डी मगर शातिर कैडेट्स को विजय घिसे-पिटे सिलेबस से अलग पाठ बढ़ाता है, जो फोर्स में भर्ती होने के बाद इन पुलिस ऑफिसरों के लिए एक दिशा-निर्देशक की तरह काम करता है। हालांकि, कहानी में कोई नयापन नहीं हैं। इसकी सबसे बड़ी कमी यही कही जा सकती है। अगर, बॉबी देओल को IPS के रोल में एक्टिंग करते हुए देखना है तो ये दिलचस्प है।

एक्टिंग 

फिल्म में बॉबी देओल ने डीन विजय सिंह का किरदार निभाया है, जो कि काफी दिलचस्प है। इसमें नवोदित स्टार कास्ट ने फिल्म की सारी कमी को पूरा कर दिया है। मूवी में जिन्होंने पांचों पुलिस ऑफिसरों का किरदार निभाया है, उनकी एक्टिंग काबिल-ए-तारीफ है। अकेडमी में रंगरूटों से लेकर एनकाउंटर करते पुलिस ऑफिसरों के ट्रांसफॉर्मेशन को इन कलाकारों ने बड़ी कामयाबी के साथ निभाया। घिसी-पिटी कहानी होने के बावजूद फिल्म बोर नहीं करती है।  

25 साल के करियर में पहली बार IPS बने बॉबी देओल

बॉबी देओल इस फिल्म में अपने 25 साल के करियर में पहली बार IPS ऑफिसर बने हैं और उन्होंने अपने किरदार को बखूबी निभाया है। सिस्टम के शिकार डीन विजय सिंह के रोल में बॉबी देओल उसकी छटपटाहट को उभारने में कामयाब रहे हैं। यह संयोग ही है कि लगभग 25 साल के करियर में बॉबी को कभी खाकी वर्दी पहनने का मौका नहीं मिला। 

पहली बार बॉबी देओल एक आईपीएस ऑफिसर के रोल में दिखे और पहली ही बार किसी फिल्म में दादा भी बने। उम्र और अदाकारी के लिहाज से डीन विजय सिंह के रोल में बॉबी जंचे हैं। अपने करियर को ट्रैक पर लाने के लिए बॉबी की प्रतिबद्धता डीन विजय सिंह के किरदार के जरिए बखूबी बाहर आती है। 

इसके अलावा साथी आईपीएस ऑफिसर के रोल में जॉय सेनगुप्ता, भ्रष्ट सीएम के किरदार में अनूप सोनी और और अकेडमी के ट्रेनर के रोल में विश्वजीत प्रधान ने अच्छा काम किया है। बता दें, 'क्लास ऑफ 83' को क्रिटिक्स द्वारा 5 में से साढ़े 3 स्टार दिए जा रहे हैं।