सार

अडानी समूह के शेयरों में हिंडनबर्ग रिपोर्ट और अमेरिका में कानूनी कार्रवाई के बाद भारी गिरावट देखी गई है, जिससे निवेशकों को 7 लाख करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। विशेषज्ञ निवेशकों को सावधानी बरतने की सलाह दे रहे हैं।

डानी समूह के शेयरों को पिछले दो वर्षों में हुए विवादों के कारण भारी नुकसान हुआ है। देश के व्यापार और उद्योग क्षेत्र में कुछ ही वर्षों में सफलता हासिल करने वाले अडानी समूह के शेयरों को दो विवादों के कारण भारी नुकसान उठाना पड़ा है। पिछले वर्ष अडानी के खिलाफ आई हिंडनबर्ग रिपोर्ट और पिछले दिनों अमेरिका में अडानी समूह के खिलाफ शुरू हुई कानूनी कार्रवाई के बाद निवेशकों को 7 लाख करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। पिछले वर्ष 23 जनवरी को अडानी के खिलाफ हिंडनबर्ग रिपोर्ट आने से एक दिन पहले अडानी समूह के दस शेयरों का कुल बाजार मूल्य 19.24 लाख करोड़ रुपये था। पिछले दिनों अमेरिका में अडानी के खिलाफ मामला दर्ज होने के बाद अडानी समूह का बाजार मूल्य घटकर 12.24 लाख करोड़ रुपये रह गया। 21 नवंबर को ही निवेशकों का कुल नुकसान 2.2 लाख करोड़ रुपये था।

हिंडनबर्ग रिपोर्ट के बाद अडानी समूह के शेयरों में आई गिरावट धीरे-धीरे रिकवर होने लगी थी। इस वर्ष 3 जून तक अडानी के शेयरों का कुल बाजार मूल्य 19.42 लाख करोड़ रुपये हो गया था। इस बीच सेबी चेयरपर्सन से जुड़े विवादों के कारण फिर से गिरावट आई। वैश्विक स्तर पर शेयरों में गिरावट और विदेशी निवेशक संस्थानों द्वारा निवेश वापस लेने के कारण भारतीय शेयर बाजारों में आई गिरावट ने अडानी समूह के शेयरों को भी प्रभावित किया। 19 नवंबर तक अडानी समूह के शेयरों का कुल मूल्य घटकर 14.49 लाख करोड़ रुपये रह गया। इसके बाद पिछले दिनों अमेरिका से आई कानूनी कार्रवाई के कारण अडानी के शेयर धराशायी हो गए।

बार-बार विवादों और शेयरों में बड़े उतार-चढ़ाव के कारण, विशेषज्ञ अडानी समूह के शेयरों में निवेश करने वाले निवेशकों को सावधानी बरतने की सलाह दे रहे हैं।