सार
नेशनल शिक्षा दिवस (National Education Day) जिसे हर साल 11 नवंबर को स्वतंत्र भारत के पहले शिक्षा मंत्री मौलाना अबुल कलाम आजाद की जयंती पर मनाया जाता है। इसी मौके पर हम आपको उनके जीवन से जुड़े कुछ अहम किस्सों के बारे में आपको बताएंगे।
नई दिल्ली। राष्ट्रीय शिक्षा दिवस जिसे हर साल 11 नवंबर को स्वतंत्र भारत के पहले शिक्षा मंत्री मौलाना अबुल कलाम आजाद (Maulana Abul Kalam Azad) की जंयती के उपलक्ष्य में मनाया जाता है। आजादी के बाद वो पहले ऐसे व्यक्ति थे जिनके कार्यकाल के दौरान, यूजीसी (UGI), एआईसीटीई (AECTI), खड़गपुर उच्च शिक्षा संस्थान (Kharagpur Higher Education), विश्वविद्यालय शिक्षा आयोग और माध्यमिक शिक्षा आयोग की स्थापना की गई थी। इतना ही नहीं उन्होंने जामिया मिलिया इस्लामिया और आईआईटी खड़गपुर (IIT Kharagpur) जैसे शैक्षणिक संस्थानों की स्थापना में भी अपना महत्वपूर्ण योगदान दिया। इसलिए उन्हें देश में एक मजबूत शिक्षा प्रणाली की नींव रखने और उसे बरकरार रखने के लिए याद किया जाता है।
चलिए जानते हैं मौलान अबुल कलाम के जीवन से जुड़ी कुछ अहम बातें
- भारत के पहले शिक्षा मंत्री मौलाना अबुल कलाम (Maulana Abul Kalam Azad) जिनका जन्म 11 नवंबर 1888 में मक्क, सऊदी अरब में हुआ।
- उन्होंने 1912 में ब्रिटिश नीतियों की आलोचन करने के लिए उर्दू में एक पत्रिका की शुरूआत की जिसका नाम था अल-हिलाल। जिसको बहुत जल्दी बंद कर दिया गया।
- मौलान अबुल कलाम जो कि, एक पत्रकार, स्वतंत्रता सेनानी और राजनीतिज्ञ थे। इसलिए वो अपने लिखने की कला को कभी नहीं बदल सकते हैं। ऐसे में उन्होंने अल-हिलाल बंद होने के बाद एक और पत्रिका को शुरू किया जिसको अल-बगाह के नाम से जाना गया।
- मौलान को 1952 में उत्तर प्रदेश के रामपुर जिले का सांसद चुने गए और आजादी के बाद भारत के पहले शिक्षा मंत्री बने।
- शिक्षा मंत्री बनते ही सबसे पहले उन्होंने राष्ट्रीय शिक्षा प्रणाली पर काम किया और उससे बेहतर बनाने की नींव रखी।
- जिसके दौरान उन्होंने कई संस्थानों की स्थापना की जैसे- यूजीसी, एआईसीटीई, खड़गपुर उच्च शिक्षा संस्थान, विश्वविद्यालय शिक्षा आयोग आदि।
- 22 फरवरी 1958 मौलाना अबुल कलाम आजाद का निधन हुआ। साल 1992 में मौलाना के मरणोपरांत देश के सबसे उच्च सम्मान भारत रत्न (Bharat Ratna) से सम्मानित किया गया।
- मौलाना अबुल कलाम आजाद की याद में हर साल 11 नवंबर को राष्ट्रीय शिक्षा दिवस के अवसर पर स्कूलों और कॉलेजों में सेमिनार कराए जाते हैं जिसमें उनसे जुड़ी अहम चीजों को बताया जात है।
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