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UPSC मुख्य परीक्षा 2020 में जबरदस्त रैंक पाने अपनाएं ये सुपर ट्रिक्स, फॉलो करें IAS अमित कुमार की स्ट्रेटजी
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अमित का जन्म छत्तीसगढ़ के सूरजपुर जिले में हुआ और उनकी शुरुआती शिक्षा भी यहीं से हुई। स्कूल खत्म होने के बाद अमित ने आईआईटी धनबाद से अप्लाईड जुलॉजी में मास्टर्स किया है। इसी दौरान अमित को सिविल सेवा की तरफ आकर्षित किया। ग्रेजुएशन के बाद उन्होंने यूपीएससी सीएसई परीक्षा की तैयारी शुरू कर दी थी। दूसरी कोशिश में उन्हें सक्सेज मिली। अमित ने निबंध के पेपर में सेकेंड हाइऐस्ट मार्क्स स्कोर किए थे। उनके निबंध में 155 अंक आए थे।
ऐसे करें निबंध लेखन की तैयारी की शुरुआत –
एकं इंटरव्यू में अमित कहते हैं कि उनसे अक्सर कैंडिडेट्स पूछते हैं कि ऐस्से की परीक्षा की तैयारी शुरू करने का सही समय क्या होता है। इसका जवाब है कि मेन्स परीक्षा के डेढ़ महीने पहले से आप निबंध पेपर की तैयारी आरंभ कर सकते हैं। दरअसल निबंध का पेपर जीएस वन, टू, थ्री और फोर से कोरिलेटेड होता है। इसी के फैक्ट्स आपको निबंध के पेपर में भी डालने होते हैं। इसलिए जब इन पेपरों की तैयारी पूरी हो जाए तभी निबंध की तैयारी शुरू करें। लिखने का तरीका वही सेम होता है इंट्रोडक्शन, बॉडी और कॉन्क्लूजन। इसी के अनुसार अपना आंसर फ्रेम करें।
50-60 कोट्स कर लें तैयार –
अमित मानते हैं कि इस पेपर में जान डालने के लिए कुछ 50 या 60 कोट्स तैयार कर लीजिए जिन्हें विषय के अनुसार इस्तेमाल किया जा सके। इससे निबंध प्रभावशाली बनता है। कुछ थिंकर्स, फेमस पर्सनैलिटीज की कहीं बातें भी याद कर सकते हैं जिन्हें जरूरत पड़ने पर इस्तेमाल करें। इनमें से कुछ कोट्स जनरल होते हैं जो कई जगहों पर इस्तेमाल किए जा सकते हैं। हालांकि यह भी ध्यान रहे कि कोट्स तैयार कर लेने का मतलब यह कतई नहीं है कि वह फिट नहीं बैठ रहा तभी भी उसे डालना ही है।
अगली जरूरी बात अमित मानते हैं निबंध का ढ़ांचा तैयार करना। वे कहते हैं परीक्षा के पहले आधे घंटे में शॉर्ट प्वॉइंट्स लिख लें कि कैसे निबंध को आगे बढ़ाना है। हेडिंग, सबहेंडिंग्स अगर डालनी है तो कौन सी डालनी है।
इन बातों का रखें खास ख्याल –
निबंध का इंट्रोडक्शन करीब 200 शब्दों का हो सकता है। ठीक इसी प्रकार बॉडी में एक हजार शब्द तक लिखें जा सकते हैं और कॉन्क्लूजन में भी 200 शब्द काफी हैं। इस संख्या में 100-200 शब्दों का ऊपर-नीचे चलता है। शुरुआत किसी उदाहरण या कोट से करें तो अच्छा रहेगा. बॉडी को पैराग्राफ में बांटकर लिखें और हर पैराग्राफ को दूसरे से कनेक्टेड रखें। यह नहीं कि एक से दूसरा मैच ही नहीं खा रहा लेकिन एक ही बात को बार-बार न दोहराएं। आखिर में नतीजे पर पहुंचते समय बैलेंस्ड अपरोच लेकर चलें और सॉल्यूशन की बात करें।
एक अधिकारी कभी समस्या का बखाना करके बात खत्म नहीं करता बल्कि उसका समाधान भी जरूर बताता है, इस बात को ध्यान में रखें। पैराग्राफ की कुछ खास बातों को अंडरलाइन भी कर सकते हैं। इससे इनकी विजिबिलिटी बढ़ जाती है।
इसी प्रकार कोट्स को भी इनवर्टेड कौमा में लिखिए और इसे इतना बड़ा लिखें की आसानी से दिखाई दे। उसी विषय को चुनें जिसमें आप अधिक से अधिक उदाहरण दे सकते हों। निबंध पेपर में अच्छा करने का एक ही तरीका है ज्यादा से ज्यादा प्रैक्टिस इसलिए खूब अभ्यास करें।