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भूलकर भी ज्यादा मात्रा में ना करें Vitamin D का सेवन, फायदे की जगह हो सकता है नुकसान, जानें सही डोज
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कोरोना में कारगर है Vitamin D
कोरोनाकाल में लोगों को इस वायरस से बचने के लिए कहा जा रहा है कि सूर्य की रोशनी में हर रोज 10 मिनट बैठने से कोरोना वायरस का खतरा कम हो सकता है। इसके अलावा कई लोगो विटामिन डी की कैप्सूल भी लेते हैं। डॉक्टर्स का कहना है कि विटामिन डी की कमी से फेफड़ों में इंफेक्शन का खतरा बढ़ जाता है। कोरोना के गंभीर मरीजों में विटामिन डी का स्तर काफी कम पाया गया है।
कैसे मिलता है शरीर को विटामिन डी
यदि आप घर के बाहर हल्की धूप में पर्याप्त समय नहीं बिता रहे हैं, तो संभावना है कि आप में भी विटामिन डी की कमी है। ऐसी स्थिति में इसके सप्लीमेंट देकर इस कमी को पूरा किया जाता है।
Vitamin D की सही मात्रा
भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (ICMR) का कहना है कि भारतीयों के लिए 400 आईयू / दिन विटामिन डी का सेवन करना सही है। वहीं, अमेरिकन्स के लिए प्रतिदिन 600 आईयू विटामिन डी की मात्रा सही है।
बच्चों के लिए सही मात्रा
बच्चों में भी विटामिन डी की कमी पाई जाती है। ऐसे में एक साल से कम उम्र के बच्चों को रोजाना 8.5 से 10 माइक्रोग्राम तक विटामिन डी दिया जा सकता है।
Vitamin D की कमी होने के लक्षण
विटमिन डी की कमी होने का सबसे बड़ा लक्षण हर वक्त थकान महसूस होना है। इसके अलावा पीठ और हड्डियों में दर्द होना, बालों का गिरना और चोट का जल्दी ठीक ना होना इसके प्रमुख लक्षण हैं। इसकी कमी से हार्ट प्राब्लम, कैंसर और अस्थमा की शिकायत हो सकती है।
Vitamin D की अधिकता होने के लक्षण
विटामिन डी की अधिकता होने पर मरीज को जी मचलना समेत, बार-बार पेशाब आना, भूख में कमी होना, बहुत ज्यादा प्यास लगना, कब्ज की दिक्कत और मांसपेशियों में कमजोरी होना है। सही समय पर विटामिन डी अधिकता को पहचाना नहीं गया तो स्वास्थ्य पर इसका काफी बुरा प्रभाव पड़ सकता है।
Vitamin D के सोर्स
विटामिन डी का सबसे बड़ा सोर्स सूरज है। सूर्य की रोशनी से सभी तरह के इंफेक्शन, फंगल इंफेक्शन और कई अन्य बीमारियां भी ठीक हो जाती हैं। इसके लिए सुबह की धूप सबसे सही होती है। इसमें नमीं के साथ खास किरणें होती हैं, जो कि बॉडी को फायदा पहुंचाती है। ये धूप स्किन एलर्जी को दूर करती है। इसके साथ ही शरीर को गरमाहट देने के साथ ये रोग प्रतिरोधक क्षमता भी बढ़ाती है। इसके अलावा आप डॉक्टर की सलाह पर इसकी दवाई या इंजेक्शन भी ले सकते हैं।