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देश के इस शहर में आधी रात को फहराया झंडा, आतिशबाजी के साथ दागे गए गोले..जानिए वजह
कानपुर (उत्तर प्रदेश). आज पूरा देश 75वां स्वतंत्रता दिवस पर मना रहा है। हर शहर हर गली में तिरंगा फहराया गया। लेकिन देश में कानपुर ऐसा शहर है जहां आधी रात को झंड़ा फहराकर सलामी दी गई। यहां 14 अगस्त मध्य रात्रि में इसी तरह हर साल ध्वजारोहण किया जाता है। आइए जानते हैं क्या इसके पीछे की खास वजह..
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दरअसल, कानपुर शहर के मेस्टन रोड पर मंदिर के पास आधी रात को आतिशबाजी के साथ स्वतंत्रता दिवस मनाया गया। इतना ही नहीं गोले भी दागे गए। आधी रात को आजादी का जश्न मनाने के लिए हर साल शहर के स्वतंत्रता सेनानी भी शामिल होते हैं। इस बार भी शहर के लोगों ने बढ़-चढ़कर हिस्सा लिया।
स्थानीय निवासी शंकर दत्त मिश्रा ने बताया, ''आज हम अपनी आजादी की 75 वीं वर्षगांठ मना रहे हैं। हम आधी रात को झंडा फहराने की अपनी 75 साल पुरानी परंपरा का पालन कर रहे हैं। हम देश के लिए अपने प्राणों की आहुति देने वाले लोगों को याद करते हैं।"
बता दें कि यहां सबसे पहले 1947 में 14 अगस्त और 15 अगस्त की दरम्यानी रात 12 बजे झंडा फहराया गया था। जब अंग्रेजों ने भारत को आजादी सौंपी थी। उस वक्त से लेकर अब तक इस तरह राष्ट्रीय ध्वज फहराने की परंपरा का पालन किया जाता है।
बताया जाता है कि आजादी के लिए कानपुर और यूपी के क्रांतिकारी अपनी गतिविधियों को अंजाम देने के लिए यहीं रणनीति बनाते थे। इसलिए कानपुर के लोगों ने फैसला किया था कि वह सबसे पहले यहीं तिरंगा फहराकर आजादी का जश्न मनाएंगे। इतिहासकार बताते हैं कि उस वक्त आजादी का जश्न मनाने के लिए चांदी के तोरणद्वार बनाए गए थे और जेवरातों से उसकी लड़ियां बनाई गई थी।