सार
चांदीपुरा, मंकीपॉक्स, निपाह वायरस और ब्रेन ईटिंग अमीबा जैसी खतरनाक बीमारियां 2025 में भी सावधानी बरतने की चेतावनी दे रही हैं। जानें इनसे बचने के उपाय।
हेल्थ डेस्क: 2020 में कोरोना वायरस ने ऐसा आतंक मचाया कि आज भी दुनिया किसी भी संक्रामक रोग के प्रति सहमी सी रहती है। साल 2024 में भी कई संक्रामक बीमारियां सामने आईं। हालांकि यह सभी बीमारियां कोरोना वायरस जैसी संक्रामक नहीं थी लेकिन फिर भी इनका आतंक अभी भी जारी है। आईए जानते हैं 2024 में फैली संक्रामक बीमारियों के बारे में।
1.चांदीपुरा वायरस का आतंक
2024 में लोगों के बीच चांदीपुरा वायरस का खूब आतंक रहा। चांदीपुरा वायरस सीधे दिमाग पर बुरा असर डालता है और मस्तिष्क में सूजन आ जाती है। संक्रमण के कारण न्यूरोलॉजिकल डिफेक्ट जैसे कि ठीक से बोल न पाना, बैलेंस करने में समस्या, गर्दन में अकड़न, रौशन से समस्या, बुखार आदि लक्षण दिखने लगते हैं। सैंड फ्लाई, मच्छर के जरिए फैलने वाली इस बीमारी का अभी टीका या इलाज उपलब्ध नहीं हुआ है। 2025 में भी इस बीमारी से सावधान रहने की जरूरत है।
2.मंकीपॉक्स या M पॉक्स वायरस
इस साल लोगों के बीच मंकीपॉक्स वायरस का भी खूब आतंक रहा। इस वायरस के लक्षण चेचक जैसे दिखते हैं। व्यक्ति की त्वचा में लाल चकत्ते या दाने निकलने शुरू हो जाते हैं। वायरस से संक्रमित होने के 3 से 17 दिन बाद तक लक्षण दिखते हैं और 4 हफ्तों तक लक्षण बने रहते हैं। डॉक्टर एमपॉक्स से बचने के लिए संक्रमित जानवर से दूर रहने की सलाह देते हैं। साथ ही संक्रमित व्यक्ति से भी तेजी से एमपॉक्स फैलता है, इस कारण से ऐसे व्यक्ति से दूरी बनाकर रहनी चाहिए।
3. निपाह वायरस से सांस की बीमारी
सांस संबंधी बीमारी फैलाने वाला निपाह वायरस एक जूनोटिक वायरस है। ये वाइरस जानवरों और इंसानों दोनों को अपना शिकार बनाता है। गंभीर मामले में इंसान को ब्रेन इंफेक्शन हो जाता है और स्थिति बत्तर हो जाती है। सिरदर्द, बुखार, सांस लेने में समस्या आदि लक्षण व्यक्ति में दिखते हैं। निपाह वायरस से बचने के लिए चमगादड़, सुअर आदि से दूर रहने की सलाह दी जाती है।
4.ब्रेन ईटिंग अमीबा
गंदे नहर, तालाब आदि से नहाने से नेगलेरिया फाउलेरी नामक अमीबा मस्तिष्क में प्रवेश कर जाता है। इस कारण से ब्रेन डेड हो जाता है। खतरनाक अमीबा से संक्रमित होने पर 97% मामलों में लोगों को मौत का सामना करना पड़ता है। इससे बचने के लिए साफ पानी में नहाने की सलाह दी जाती है। पानी में तैरने से पहले नोजप्लग का इस्तेमाल, वॉटर डिसइंफेक्टेड के लिए क्लोरीन टैबलेट का यूज करना चाहिए।