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वर्जिनिटी से लेकर बार-बार सेक्स करने तक वजाइना से जुड़े ये हैं 6 मिथक, जानें क्या है इसके पीछे की सच्चाई
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महिलाओं के शरीर का इंटरनल पार्ट हमेशा मिथकों, भ्रांतियों और फुसफुसाती आवाजों में डूबी हुई होती है। खासकर वजाइना(vagina ) के बारे में जिसे लेकर कई तरह की मिथक और गलत धारणा लोगों के बीच है। लेकिन बहुत जरूरी है कि इन मिथकों के पीछे का सच जानना, ताकि सेक्सुअल हेल्थ को बढ़ावा दिया जा सकें। आइए जानते हैं उन मिथकों के बारे में।
मिथक-1 वजाइना हमेशा टाइट रहती है?
वजाइना को लेकर लोगों के मन में यह भ्रांति होती है कि यह हमेशा टाइट होती है। लेकिन बच्चे के जन्म और उम्र के आधार पर इसमें बदलाव होते हैं। यह हमेशा टाइट नहीं होती है, लेकिन यह-यह अलग-अलग लोगों पर भी निर्भर करता है। एक्सरसाइज-योग के जरिए इसमें हमेशा कसावट रखा जा सकता है। जबकि कुछ महिलाओं की वजाइना वक्त के साथ बदलाव आते हैं।
मिथक -2 बार-बार सेक्स करने से योनि ढीली हो जाती है?
ऐसा बिल्कुल नहीं होता है। योनि फोरप्ले से लुब्रिकेटेड हो जाती है, जिससे फैलने और एडजस्ट करने में मदद मिलती है। यह योनि में रूगे इसे लचीला और लोचदार बनाते हैं। लेकिन सेक्स के बाद यह वापस अपने पुराने शेप में लौट आता है।
मिथक-3 महिलाओं को योनि यानि वजाइना में चरम सुख का अनुभव होता है?
क्लिटोरल, वेजाइनल और कॉम्बिनेशन ऑर्गेज्म जैसी कई तरह की उत्तेजना से आनंद प्राप्त किया जा सकता है। "वैजाइनल ऑर्गेज्म' एक अलग तरह का ऑर्गेज्म नहीं है, इसलिए इसे सिर्फ एक ऑर्गेज्म के रूप में ही दिखाया जाना चाहिए।
मिथक-4 हाइमन वर्जिनिटी को दिखाता है?
हाइमन एक पतली झिल्ली के आकार की होती है। इससे वर्जिनिटी को निर्धारित करना गलता है। क्योंकि यह एक्सरसाइज, उछलने-कूदने, साइकिल चलाने या फिर टैम्पोन के इस्तेमाल से टूट सकता है। इससे वर्जिनिटी से जोड़ना गलत है।
मिथक-5 योनि स्राव संक्रमण का संकेत है?
योनि स्राव सामान्य है। यह योनि को साफ और चिकना करता है। हालांकि, रंग, स्थिरता, या गंध में परिवर्तन संक्रमण या असंतुलन का संकेत दे सकता है जिसके लिए इस पर ध्यान देने की जरूरत होती है।
मिथक-6 योनि में दुर्गंध आना असामान्य है?
कुछ मामलों में योनि से गंध का आना संक्रमण का संकेत हो सकता है। वैसे हल्की प्राकृतिक गंध होना सामान्य है। ध्यान दें, यह गंध मासिक धर्म चक्र के विभिन्न चरणों पर आकस्मिक है।