Toxic soil crisis: साइंस जर्नल में प्रकाशित एक नई रिपोर्ट के मुताबिक, दुनियाभर में लगभग 1.4 अरब लोग ऐसी जगहों पर रह रहे हैं जहां की मिट्टी खतरनाक रूप से जहरीली हो चुकी है।

Toxic soil crisis: साइंस जर्नल में छपी एक नई रिपोर्ट में पता चला है कि दुनिया में करीब 1.4 अरब लोग ऐसी जगहों पर रहते हैं, जहां की मिट्टी बहुत जहरीली हो गई है। इस मिट्टी में आर्सेनिक, कैडमियम, कोबाल्ट, क्रोमियम, कॉपर, निकेल और सीसा जैसे खतरनाक धातु पाए गए हैं। ये धातु इंसानों की सेहत के लिए बहुत नुकसानदायक हो सकते हैं।

खेती और इंसानों की सेहत के लिए खतरा

इस स्टडी के मुताबिक, दुनिया की लगभग 14 से 17 फीसदी खेती यानी करीब 242 मिलियन हेक्टेयर में कम से कम एक भारी धातु की मात्रा इतनी ज्यादा है कि वह खेती और इंसानों की सेहत के लिए खतरा बन चुकी है। इतनी बड़ी मात्रा में मिट्टी का जहरीला होना खाद्य सुरक्षा, पर्यावरण और लोगों की सेहत के लिए गंभीर खतरा है। इससे फसलें कम होती हैं और जहरीले धातु खाने की चीजों के जरिए इंसानों तक पहुंच सकते हैं। स्टडी की एक बड़ी खोज यह भी है कि दक्षिणी यूरेशिया में एक धातु-समृद्ध जोन मिला है जिसकी जानकारी पहले नहीं थी।

रिपोर्ट में हुआ चौंकाने वाला दावा

यह मिट्टी का जहर अब खाने की चीज़ों, पेड़-पौधों और इंसानों की सेहत के लिए बड़ा खतरा बन गया है। इससे खेतों में फसलें कम हो रही हैं और जहरीली धातुएं हमारे खाने-पीने की चीजों में पहुंच रही हैं। रिपोर्ट में एक चौंकाने वाली बात यह सामने आई है कि यूरेशिया के कुछ गर्म इलाकों में एक नया धातु से भरा इलाका मिला है, जिसे पहले कोई नहीं जानता था।

किन कारणों की वजह से जहरीली हो गई मिट्टी?

इस इलाके की मिट्टी में पहले से ही ज्यादा धातुएं थीं और वहां ज्वालामुखी भी फूटते रहे हैं। इसके अलावा, इंसानों की वजह से भी हालात और बिगड़े हैं जैसे ज्यादा खनन, फैक्ट्रियां और गलत सिंचाई के तरीके। इन सब कारणों से अब वहां की मिट्टी बहुत ज्यादा जहरीली हो गई है।

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