सार

उत्तराखंड की अंकिता भंडारी की हत्या के मामले में लगातार नए-नए खुलासे हो रहे हैं। इसी बीच, पुलिस ने ऋषिकेश के रास्ते पर लगे हुए सीसीटीवी कैमरों के फुटेज खंगाले। इनसे साफ हो गया कि रिसॉर्ट से ऋषिकेश जाते समय चार लोग थे, लेकिन वहां से वापस सिर्फ तीन ही लौटे।

Ankita Bhandari Murder Case: उत्तराखंड की अंकिता भंडारी की हत्या के मामले में लगातार नए-नए खुलासे हो रहे हैं। इंडिया टुडे के पास अंकिता के दोस्त पुष्प और पुलकित आर्य के बीच हुई बातचीत का ऑडियो है। इसमें सामने आया है कि पुष्प ने पुलकित आर्य को फोन कर पूछा था कि अंकिता कहां गायब हो गई है, अंकिता का फोन नहीं लग रहा है। इस बातचीत के दौरान पुलकित लगातार पुष्प को गुमराह कर रहा था। इसके साथ ही इस बात का भी खुलासा हो गया है कि ऋषिकेश जाते समय अंकिता के साथ 4 लोग थे, लेकिन वहां से रिसॉर्ट लौटते वक्त सिर्फ तीन ही लोग थे। 

अंकिता ने रात का खाना खाया, लेकिन सुबह कमरे में नहीं थी : 
पुष्प से बातचीत के दौरान पुलकित कह रहा था कि हम लोग शाम को अंकिता के साथ निकले थे। ऋषिकेश में घूम रहे थे और रात 9 बजे रिजॉर्ट में वापस आ गए थे। अंकिता भी रिजॉर्ट में आई थी, इसके बाद अंकिता ने रात का खाना खाया था, लेकिन सुबह वह अपने कमरे में नहीं मिली। हम सभी लोग उसे तलाश कर रहे हैं। 

पुलकित ने ऐसे किया गुमराह : 
इसके साथ ही पुलकित ने कहा कि मैंने अपना मोबाइल फोन अंकिता को पूरी रात के लिए दे दिया था। वहीं, जांच में ये बात सामने आई थी कि हत्याकांड के पहले अंकिता और अन्य आरोपियों के बीच झड़प के दौरान पुलकित का फोन नहर में गिर गया था। 

लापता होने से पहले अंकिता ने शेफ से की थी बात : 
वहीं, रिसॉर्ट के एक स्टाफ मनवीर सिंह चौहान के मुताबिक, अंकिता भंडारी ने लापता होने से पहले 18 सितंबर की रात रोते हुए रिजॉर्ट के शेफ को फोन किया था। यहां तक कि अंकिता ने मुझे भी फोन कर अपना बैग लाने को कहा था, उस वक्त वो रो रही थी। उसने मुझे अपना बैग सड़क पर रखने को कहा था। लेकिन जब स्टाफ का एक सदस्य बैग लेकर वहां पहुंचा, तो उसे अंकिता नहीं मिली। अंकिता को 18 सितंबर की शाम 3 बजे आखिरी बार रिसॉर्ट में देखा गया था।

तो क्या इस वजह से हुई अंकिता की हत्या?
पुलिस ने अपनी FIR में लिखा है कि अंकिता भंडारी 18 सितंबर से गायब थी। इसके बाद उसके पिता ने रिसॉर्ट पहुंचकर कर्मचारियों से पूछताछ की थी। बेटी का पता नहीं चलने पर उन्होंने रिपोर्ट दर्ज कराई थी। अंकिता 17 सितंबर की रात करीब 8 बजे पुलकित आर्य, उसके रिजॉर्ट मैनेजर सौरभ भास्कर और अंकित उर्फ ​​पुलकित के साथ ऋषिकेश गई थी। लौटते समय तीनों आरोपियों ने चीला रोड के किनारे शराब पी। इस दौरान अंकिता ने रिसॉर्ट में हो रहे गलत कामों का विरोध किया था। उसने धमकी भी कि वो यहां चलने वाली अनैतिक गतिविधियों के बारे में सबको बता देगी। इस बात से गुस्साए पुलकित और उसके साथियों ने लड़की को नहर में धकेल दिया।

हत्या के बाद गढ़ी झूठी कहानी : 
पुलकित ने अंकिता की हत्या के बाद पुलिस को झूठी कहानी सुनाई। पुलिस ने जब पुलकित से सख्ती से पूछताछ की, तो उसने पुलिस को बताया कि रिसेप्शनिस्ट अंकिता भंडारी रिसॉर्ट के एक कमरे में रहती थी। कुछ दिन से वह मानसिक तनाव से गुजर रही थी। इसलिए वो और उसके दोस्त 18 सितंबर को अंकिता को ऋषिकेश घुमाने ले गए थे। देर रात सभी वहां से लौट आए। लौटकर सभी रिसॉर्ट में अपने-अपने कमरों में सोने चले गए। 19 सितंबर की सुबह अंकिता अपने कमरे से गायब थी। लेकिन पुलिस जांच में यह कहानी झूठी निकली। 

ऋषिकेश जाते समय 4 लोग, लेकिन लौट सिर्फ तीन : 
पुलकित से पूछताछ के बाद पुलिस ने रिसॉर्ट के कर्मचारियों से से भी जवाब-तलब किया। उन्होंने बताया कि ऋषिकेश जाते समय अंकिता तीन लोगों के साथ गई थी, लेकिन लौटते वक्त वह इनके साथ नहीं थी। इसके बाद पुलिस ने ऋषिकेश के रास्ते पर लगे हुए सीसीटीवी कैमरों के फुटेज खंगाले। इनसे साफ हो गया कि ऋषिकेश जाते समय चार लोग थे, लेकिन वहां से वापस तीन ही लौटे।

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