सार

केंद्रीय राज्यमंत्री राजीव चंद्रशेखर ने कहा कि 2025-26 तक भारत के जीडीपी में डिजिटल अर्थव्यवस्था की हिस्सेदारी 25 फीसदी तक होने का अनुमान है। ‘ईज ऑफ डूइंग’ बिजनेस के मामले में 2014 में भारत 142वें पायदान पर था, लेकिन अब 63वें स्थान पर आया गया है।

कोच्चि। केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी और कौशल विकास एवं उद्यमिता राज्यमंत्री राजीव चंद्रशेखर ने शुक्रवार को कहा कि 2025-26 तक भारत के सकल घरेलू उत्पाद यानी जीडीपी में डिजिटल अर्थव्यवस्था की हिस्सेदारी 25 फीसदी तक होने का अनुमान है। आईटी राज्यमंत्री यहां टेक स्पेक्टेशंस डिजिटल समिट को संबोधित कर रहे थे।

मोदी सरकार के पिछले नौ साल के कार्यकाल में टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में हुई प्रगति की तस्वीर पेश करते हुए केंद्रीय मंत्री ने कहा कि भारत अब टेक्नोलॉजी का यूजर ही नहीं बल्कि उत्पादक और इनोवेटर भी बन गया है। इससे आने वाले दिनों में व्यापार और वाणिज्य की दिशा तय होगी। टेक्नोलॉजी के क्षेत्र में प्रगति से विश्व-पटल पर भारत की बढ़ती उपस्थिति के संदर्भ में उन्होंने कहा कि भू-राजनीति भी टेक्नोलॉजी के इर्द-गिर्द चलती है।

ईज ऑफ डूइंग बिजनेस के मामले में 63वें स्थान पर है भारत

देश में कारोबारी सुगमता के माहौल पर चर्चा करते हुए मंत्री ने कहा कि ‘ईज ऑफ डूइंग’ बिजनेस के मामले में 2014 में भारत 142वें पायदान पर था, लेकिन अब 63वें स्थान पर आया गया है। उन्होंने सवालिया लहजे में कहा कि 63वां ही क्यों पहला स्थान क्यों नहीं? इसकी वजह बताते हुए उन्होंने कहा कि सभी राज्यों की सरकारें पारदर्शिता और उद्यमशीलता व निवेश के समर्थन के मामले में एक समान स्तर पर प्रदर्शन नहीं कर रही हैं। कुछ सरकारें पुरानी लीक से ही बंधी रहती हैं। उनका इशारा उन राज्यों की तरफ था जहां कानून-व्यवस्था में बदलाव लाकर कारोबारी सुगमता का माहौल बनाने का प्रयास नहीं किया जा रहा है।

चार कार्यक्रमों में शामिल हुए राजीव चंद्रशेखर

राजीव चंद्रशेखर ने शुक्रवार को केरल के एक दिवसीय दौरे के दौरान लगातार चार कार्यक्रमों में शिरकत की। उन्होंने प्रो. ई बालगुरुसामी के जीवन पर आधारित एक पुस्तक ‘सत्य के पथ पर सतत यात्रा: प्रो. ई बालगुरुसामी के जीवन के माध्यम से’ का विमोचन किया। आईटी राज्यमंत्री ने केरल हाईकोर्ट परिसर में मॉडर्न टेक्नोलोजी एंड ज्यूडिशियल डिस्पेंसेशन सिस्टम पर परिचर्चा में भी हिस्सा लिया।

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आखिर में उन्होंने अमृता विश्वविद्यापीठम में आयोजित न्यू इंडिया फॉर यंग इंडिया सत्र को संबोधित किया। यहां विद्यार्थियों के साथ संवाद के दौरान उन्होंने कहा कि आजादी के 75 साल बाद देश में आज युवा पीढ़ी के लिए काफी रोमांचक वक्त है। दशकों से भारत को निष्क्रिय लोकतंत्र समझा जाता था जो पुराने भारत का परिचायक है। आज नये भारत में हमारा लोकतंत्र कियाशील है। आज टेक्नोलॉजी के माध्यम से केंद्रीय योजनाओं का 100 प्रतिशत लाभ उनके लाभार्थियों तक पहुंच रहा है। जो पुराना भारत था उसमें देश को गरीब माना जाता था क्योंकि सरकार के पास पैसा नहीं था, लेकिन आज कर राजस्व लक्ष्य से 30 फीसदी ज्यादा है और आधुनिक बुनियादी ढांचा तैयार करने पर 13.5 लाख करोड़ रुपए खर्च किया जा रहा है। यह नया भारत है जो पुराने भारत से अलग है।

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राजीव चंद्रशेखर ने युवाओं को कठिन परिश्रम से नहीं घबराने के साथ-साथ शॉर्टकट यानी जुगाड़ का रास्ता नहीं अपनाने की नसीहत दी। उन्होनें युवाओं से सशस्त्र बलों के बहादुर जवानों से साहस और नेशन फर्स्ट का पाठ सीखने की अपील की। आईटी राज्यमंत्री ने उन्हें डिजिटल कौशल ग्रहण कर भविष्य संवारने की सलाह दी।