सार

DRDO ने सागर डिफेंस इंजीनियरिंग के साथ मिलकर हथियारों से लैस रिमोट कंट्रोल बोट बनाया है। इसपर इंसान को तैनात करने की जरूरत नहीं होती। इसकी मदद से निगरानी और गश्त किया जा सकता है। 
 

पुणे। भारतीय नौसेना के जवान आने वाले दिनों में दुश्मन के पास गए बिना उनका सफाया कर सकते हैं। इसके लिए  DRDO (Defence Research and Development Organisation) ने खास बोट तैयार किया है। इसे हथियारों से लैस किया गया है। इस बोट को रिमोट की मदद से दूर से ही ऑपरेट किया जा सकता है। 

महाराष्ट्र के पुणे में DRDO ने रिमोट से कंट्रोल होने वाले तीन हथियारबंद बोट को टेस्ट किया। इस बोट पर किसी इंसान को तैनात करने की जरूरत नहीं होती। इसे युद्धपोत या पेट्रोलिंग करने वाले जहाज पर रखा जा सकता है और जरूरत पड़ने पर समुद्र में उतारकर इस्तेमाल किया जा सकता है। 

टोही अभियान और गश्त के लिए होगा इस्तेमाल
डीआरडीओ के अनुसंधान एवं विकास प्रतिष्ठान के समूह निदेशक पीएम नाइक ने बताया कि बोट में लगा कैमरा ग्राउंड कंट्रोल स्टेशन तक रियल टाइम वीडियो फीड भेजता है। यह नाव टोही अभियान और गश्त के लिए उपयोगी है। नाव पर हथियार लगाया गया है। जरूरत पड़ने पर इसकी मदद से दुश्मन पर हमला किया जा सकता है। हम वर्तमान में भामा आस्केड बांध में इसका टेस्ट कर रहे हैं।

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4 घंटे तक काम करता है बोट
गौरतलब है कि DRDO ने इन नावों को प्राइवेट डिफेंस मैन्युफैक्चरिंग स्टार्ट-अप सागर डिफेंस इंजीनियरिंग के सहयोग से विकसित किया है। इस नाव के इस्तेमाल से नौ सैनिकों को जान जोखिम में नहीं डालना पड़ेगा। बोट करीब 4 घंटे तक काम कर सकता है। वर्तमान में बोट की अधिकतम रफ्तार 18.52 किलोमीटर प्रतिघंटा है। इसे बढ़ाकर 46 किलोमीटर प्रतिघंटा किया जाएगा। इन नावों के कुछ वैरिएंट में लिथियम बैटरी के साथ इलेक्ट्रिक प्रोपल्शन सिस्टम का इस्तेमाल किया गया है, जबकि कुछ में पेट्रोल से चलने वाला ऑन बोर्ड इंजन है।

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