सार

GST Council की 45वीं बैठक लखनऊ में हो रही है। इसकी अध्यक्षता वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitharaman) कर रही हैं। 

लखनऊ, उत्तर प्रदेश.  GST Council की 45वीं बैठक आज लखनऊ में हो रही है। इस मीटिंग पर सबकी निगाहें टिकी हुई हैं। उम्मीद की जा रही थी कि Petrol-Diesel को भी GST के दायरे में लाया जा सकता है, लेकिन कई राज्यों ने इसका विरोध कर दिया। मीटिंग की अध्यक्षता वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitharaman) कर रही हैं। इसमें सभी राज्यों के वित्त मंत्री शामिल हुए। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, काउंसिल ने कोरोना के इलाज में इस्तेमाल होने वाली दवाओं और अन्य सामान पर टैक्स छूट 31 दिसंबर 2021 तक बढ़ा दी गई है। इसका दायरा भी बढ़ा दिया गया है।  Ambphotericin और Tocilizumab पर कोई जीएसटी नहीं देना होगा। रेमेडिसीवर और Heparin दवा पर 5 फीसदी जीएसटी लगेगा। 

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पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव को देखते हुए लिया जा सकता है फैसला
अगले साल उत्तर प्रदेश, पंजाब, उत्तराखंड, गुजरात और हिमाचल प्रदेश में विधानसभा चुनाव होने है। इसलिए माना जा रहा था कि केंद्र सरकार Petrol-Diesel को भी GST के दायरे में लाने का फैसला कर सकती है, क्योंकि यह एक बड़ा मुद्दा है। बता दें कि अगर ऐसा होता है, तो पेट्रोल 28 रुपए और डीजल 25 रुपए तक सस्ता हो जाता। अभी पेट्रोल 110 और डीजल 100 रुपए प्रति लीटर के ऊपर चल रहा है। बताया जाता है कि कर्नाटक, केरल और महाराष्ट्र ने इसका विरोध किया। एक्सपर्ट भी मानते हैं कि यह इतना आसान नहीं है, क्योंकि यह राज्य सरकारों की कमाई का एक बड़ा जरिया है। कोरोना महामारी के बाद GST काउंसिल की यह पहली फिजिकल बैठक हो रही है। इससे पहले वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये ही मीटिंग होती रही है। 

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