सार
अनाथालय में सीडब्ल्यूसी टीम के इंस्पेक्शन में बच्चों ने यह आरोप लगाया है। बच्चों के आरोप के बाद पूरे प्रदेश में हड़कंप मचा हुआ है।
Indore orphanage children: मध्य प्रदेश के इंदौर में एक अनाथालय में बच्चों के शोषण का मामला सामने आया है। अनाथालय के 21 बच्चों ने कर्मचारियों पर दुर्व्यवहार और यातना का आरोप लगाया है। अनाथालय में सीडब्ल्यूसी टीम के इंस्पेक्शन में बच्चों ने यह आरोप लगाया है। बच्चों के आरोप के बाद पूरे प्रदेश में हड़कंप मचा हुआ है।
दरअसल, बीते हफ्ते बाल कल्याण समिति यानी सीडब्ल्यूसी की टीम ने इंदौर के अनाथालय का निरीक्षण किया था। इस निरीक्षण में बच्चों ने अपने ऊपर किए जा रहे अत्याचार के बारे में खुलकर बात की। बच्चों ने आपबीती सुनाते हुए बताया कि उनको कर्मचारियों द्वारा उल्टा लटका दिया जाता है, गर्म लोहे से दागा जाता है। उनके कपड़े उतरवाकर फोटो खींचते हैं। बच्चों ने बताया कि उन लोगों को उल्टा लटका कर लाल मिर्च का धुंआ कर दिया जाता है। सांसें अफनाती है।
पुलिस ने कहा कि बच्चों ने अधिकारियों को बताया कि कर्मचारी छोटी-छोटी गलतियों पर उन्हें प्रताड़ित करते थे। यहां महाराष्ट्र, गुजरात, राजस्थान, ओडिशा और मध्य प्रदेश के अनाथ बच्चे हैं।
बच्चों के आरोप के बाद सीडब्ल्यूसी सख्ती
बच्चों के आरोप के बाद पूरे प्रदेश में हड़कंप मच गया। सीडब्ल्यूसी ने तत्काल पुलिस के हस्तक्षेप को कहा। सीडब्ल्यूसी के निर्देश के बाद पुलिस ने आरोपी कर्मचारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज किया है। अनाथालय के पांच कर्मचारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। पुलिस ने कहा कि टीम ने अपनी शिकायत के साथ बच्चों की चोटों की तस्वीरें भी सौंपी हैं। एफआईआर में कहा गया है कि एक चार साल के बच्चे को उसके पैंट में शौच करने के बाद बाथरूम में बंद कर दिया गया और दो-तीन दिनों तक खाना नहीं दिया गया।
ट्रस्ट भी रजिस्टर्ड नहीं
पुलिस ने कहा कि वात्सल्यपुरम जैन ट्रस्ट द्वारा संचालित अनाथालय किशोर न्याय अधिनियम के तहत पंजीकृत नहीं था। ट्रस्ट के बेंगलुरु, सूरत, जोधपुर और कोलकाता में भी अनाथालय हैं।
अनाथालय को किया गया सील
इंदौर के अतिरिक्त पुलिस आयुक्त अमरेंद्र सिंह ने कहा कि शिकायत मिलने के तत्काल बाद आरोपियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के अलावा अनाथालय को तुरंत सील कर दिया गया है। बच्चों को सरकारी केंद्र पर ट्रांसफर कर दिया गया है।
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