सार

मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और उपराज्यपाल वीके सक्सेना के बीच चल रहा शीतयुद्ध थमने का नाम नहीं ले रहा है। कहा जा रहा है कि शनिवार(21 जनवरी) को केजरीवाल की LG से मुलाकात हो सकती है।

नई दिल्ली. मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और उपराज्यपाल वीके सक्सेना के बीच चल रहा शीतयुद्ध(Cold War Arvind Kejriwal and Lieutenant Governor VK Saxena) थमने का नाम नहीं ले रहा है। कहा जा रहा है कि शनिवार(21 जनवरी) को केजरीवाल की LG से मुलाकात हो सकती है। बता दें कि दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को उनके हालिया टिप्पणी 'एलजी कौन है-Who is LG?' के संबंध में पत्र लिखा है। मुख्यमंत्री ने ये टिप्पणी फिनलैंड में शिक्षकों के प्रशिक्षण पर विधानसभा में की थी।

केजरीवाल और उपराज्यपाल के बीच तनातनी का माहौल

बीते दिनों दिल्ली विधानसभा के शीतकालीन सत्र के दौरान अरविंद केजरीवाल ने एलजी पर कई आरोप लगाए थे। एलजी ने इन्हें अपशब्द मानते हुए कड़ा एतराज जताया है। उन्होंने केजरीवाल को चार पेज का एक जवाबी पत्र लिखा है। एलजी ने लेटर में लिखा-मीडिया रिपोर्टों के माध्यम से मेरे संज्ञान में आया है कि आपने पिछले कुछ दिनों में मेरे बारे में कई बयान दिए हैं, जो कि गंभीर और अपमानजनक हैं। जैसे कि आपने कहा-'एलजी कौन है' और 'वह कहां से आया' आदि.. इनका उत्तर दिया जा सकता है। यदि आप देश के संविधान को देखें तो इनका जवाब देने की जरूरत नहीं है। आपके बयान निम्न स्तर के हैं।

सूर्य और चंद्रमा अपने आर्बिट में काम करेंगे, तो अराजगता फैल जाएगी

शुक्रवार को मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने अपने शब्दों के युद्ध को एक नए स्तर पर ले जाते हुए कहा कि अगर सूर्य और चंद्रमा अपनी-अपनी कक्षाओं(orbits) में काम नहीं करते हैं, तो पृथ्वी पर अराजकता फैल जाएगी। यह बयान LG का लेटर सामने आने के बाद आया था।

मुख्यमंत्री ने यह भी आरोप लगाया कि सक्सेना और उनका कार्यालय दिल्ली की निर्वाचित सरकार के दिन-प्रतिदिन के मामलों में हस्तक्षेप कर रहे हैं। जैसे ही बयानबाजी तेज हुई, सक्सेना और केजरीवाल के बीच शुक्रवार को साप्ताहिक बैठक नहीं हुई। अधिकारियों ने कोई विशेष कारण नहीं बताया कि वे क्यों नहीं मिले।

इससे पहले दिन में सक्सेना ने केजरीवाल को पत्र लिखकर उन पर उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया और आप विधायकों के साथ 16 जनवरी को राज निवास तक मार्च के दौरान 'राजनीतिक दिखावा' करने का आरोप लगाया।

दिल्ली सरकार ने सदर बाजार इलाके में स्कूल बनाने के लिए लैंड यूज बदलने का फैसला किया

एक अन्य डेवलपमेंट में दिल्ली सरकार ने सदर बाजार के एक इलाके में बच्चों के लिए एक नया मिडिल स्कूल बनाने की योजना बनाई है। इसके लिए जमीन के एक हिस्से को कमर्शियल से एजुकेशनल में बदलने का फैसला किया है। दिल्ली अर्बन शेल्टर इम्प्रूवमेंट बोर्ड (DUSIB) की भूमि कुरैश नगर, पहाड़ी धीरज में स्थित है। डिप्टी सीएम कार्यालय द्वारा जारी एक आफिसियल स्टेटमेंट के अनुसार, इस दिशा में दिल्ली सरकार द्वारा एक और कदम उठाया गया है।

बयान में कहा गया-"कुरैश नगर दिल्ली के घनी आबादी वाले इलाकों में से एक है और यहां की रेसिडेंसियल वेलफेयर सोसायटी (RWA) ने मांग की है कि दिल्ली सरकार द्वारा क्षेत्र में बच्चों के लिए एक स्कूल का निर्माण किया जाना चाहिए। इस संबंध में स्थानीय आरडब्ल्यूए ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से मुलाकात की थी और सिसोदिया ने कहा, "इसका त्वरित संज्ञान लेते हुए सीएम द्वारा निर्देश दिए गए थे कि इस क्षेत्र में स्कूल के लिए वैकल्पिक भूमि ढूंढी जाए और स्कूल का निर्माण किया जाए।"

उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में एक प्रमुख स्थान पर 1,103.54 वर्गमीटर का एक खाली व्यावसायिक प्लॉट है। इसका बाजार मूल्य 23.20 करोड़ रुपये है। यह जमीन डीयूएसआईबी को आवंटित की गई है। चूंकि शिक्षा हमेशा मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की प्राथमिकता रही है, इसलिए उन्होंने भूमि के उपयोग को व्यावसायिक से बदलकर शिक्षा और वहां एक नया स्कूल बनाने के निर्देश दिए हैं।"

हालांकि इसके लिए एमपीडी-2021 के तहत एमसीडी के नगर नियोजन विभाग की मंजूरी जरूरी होगी। बयान में कहा गया है कि फाइल अब संबंधित विभाग को भेजी जाएगी।

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