सार
कृषि कानूनों के विरोध में विरोध प्रदर्शन के बीच मुजफ्फरनगर में किसानों की महापंचायत हुई। हजारों की संख्या में किसान पश्चिम उत्तर प्रदेश से जुटे हैं। यहां आरएलडी नेता जयंत चौधरी भी शामिल हुए। महापंचायत में आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह भी पहुंचे।
नई दिल्ली. कृषि कानूनों के विरोध में विरोध प्रदर्शन के बीच मुजफ्फरनगर में किसानों की महापंचायत हुई। हजारों की संख्या में किसान पश्चिम उत्तर प्रदेश से जुटे हैं। यहां आरएलडी नेता जयंत चौधरी भी शामिल हुए। महापंचायत में आम आदमी पार्टी के सांसद संजय सिंह भी पहुंचे।
राकेश टिकैत के रोने के बाद महापंचायत का फैसला
दरअसल, गुरुवार को गाजीपुर बॉर्डर पर मीडिया से बात करते हुए किसान नेता राकेश टिकैत ने रो दिया है। रोते हुए उन्होंने बड़ी संख्या में किसानों को गाजीपुर बॉर्डर पर पहुंचने का आह्वान किया। राकेश टिकैत के आह्वान के बाद महापंचायत बुलाई गई, जिसमें आंदोलन पर आगे की रणनीति तय की जाएगी।
आस-पास के बाजार बंद, अलर्ट पर यूपी पुलिस
महापंचायत में आई भीड़ को देखकर पुलिस अलर्ट हो गई है। आस-पास के बाजार बंद करा दिए गए हैं। सभी पुलिस स्टेशनों के आसपास नाकाबंदी तेज कर दी गई है।
राकेश टिकैत के बड़े भाई ने बुलाई थी महापंचायत
राकेश टिकैत के बड़े भाई नरेश टिकैत ने गुरुवार को पंचायत को संबोधित करने हुए ऐलान किया था कि शुक्रवार की सुबह 11 बजे मुजफ्फरनगर सिटी के राजकीय इंटर कॉलेज में महापंचायत बुलाई जाएगी। बता दें कि बलियान खाप पश्चिम यूपी में जाटों की सबसे बड़ी खाप पंचायत है और उसके अध्यक्ष भी नरेश टिकैत ही हैं।
महापंचायत में किसानों के अलावा नेता भी पहुंचे
रालोद के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष जयंत चौधरी, आम आदमी पार्टी से राज्यसभा सदस्य संजय सिंह, पूर्व सांसद अमीर आलम खान, हरेंद्र मलिक और राजपाल सैनी शामिल हुए। वहीं समाजवादी पार्टी, राष्ट्रीय लोकदल और कांग्रेस के नेता भी पहुंचे। कैराना से सपा विधायक नाहिद हसन, पूर्व सांसद हरेंद्र मलिक व कांग्रेस प्रदेश उपाध्यक्ष पंकज मलिक भी महापंचायत में शामिल हुए।
अखिलेश यादव ने किया किसानों का समर्थन
सपा नेता अखिलेश यादव ने भी किसानों का समर्थन किया। उन्होंने ट्वीट कर कहा, अभी भाजपाई उत्पातियों ने सिंघु बार्डर पर किसानों के आंदोलन पर पथराव किया है। सारा देश देख रहा है कि भाजपा कुछ पूँजीपतियों के लिए कैसे देश के भोले किसानों पर अत्याचार कर रही है। भाजपा की साजिश और बच्चों, महिलाओं व बुजुर्गों किसानों पर की जाने वाली निर्दयता घोर निंदनीय है।