सार
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman)ने आम बजट 2020-21 में वेतनभोगियों के हित में कदम उठाया है। बजट के दौरान वित्त मंत्री ने ऐलान किया है कि अगर एम्पलॉयर (नियोक्ता) कर्मचारी का पीएफ (PF) देर से जमा करता है, तो उन्हें छूट का फायदा नहीं मिलेगा। वित्त मंत्री ने आगे कहा- एम्प्लॉयर (नियोक्ता) की ओर से होने वाली इस देरी पर सरकार का ध्यान गया है।
नई दिल्ली। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman)ने आम बजट 2020-21 में वेतनभोगियों के हित में कदम उठाया है। बजट के दौरान वित्त मंत्री ने ऐलान किया है कि अगर एम्पलॉयर (नियोक्ता) कर्मचारी का पीएफ (PF) देर से जमा करता है, तो उन्हें छूट का फायदा नहीं मिलेगा। इस दौरान वित्त मंत्री ने आम कर्मचारी को होने वाली परेशानियों का जिक्र करते हुए कहा- हमने देखा कि कुछ नियोक्ता कर्मचारियों के वेतन से ही प्रोविडेंट फंड (पीएफ) और दूसरी सामाजिक सुरक्षा योजनाओं के नाम पर पैसा तो काटते हैं, लेकिन उसे समय पर जमा नहीं करते हैं।
वित्त मंत्री ने आगे कहा- एम्प्लॉयर (नियोक्ता) की ओर से होने वाली इस देरी पर सरकार का ध्यान गया है। नियोक्ताओं द्वारा ऐसा करने से कर्मचारियों को ब्याज और कमाई का नुकसान होता है। बता दें कि किसी भी कंपनी में कर्मचारियों के लिए पीएफ स्कीम बहुत फायदेमंद होती है क्योंकि यह न केवल आपकी सेविंग करने का अच्छा तरीका है बल्कि इस पर अच्छी ब्याज दर, टैक्स छूट इत्यादि जैसी तमाम खूबियां इसे खास बनाती हैं।
क्या होता है PF :
नौकरीपेशा लोग EPF और PF दोनों ही शब्दों को अच्छे से जानते हैं। दोनों का अर्थ एक ही है। इसका पूरा मतलब एम्प्लाई प्रॉविडेंट फंड (कर्मचारी भविष्य निधि) है। यह रिटारमेंट और नौकरी छोड़ने के समय दिया जाता है। हालांकि कुछ मामलों में इसका कुछ हिस्सा बीच में भी निकाला जा सकता है।
कौन हैं PF के लिए पात्र :
अगर किसी कंपनी में 20 से अधिक कर्मचारी काम करते हैं तो उसका पंजीकरण कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) में होना अनिवार्य है। इसके तहत कर्मचारियों को दी जाने वाली तनख्वाह का कुछ भाग काटा जाता है, जो रिटारमेंट और नौकरी छोड़ने के समय दिया जाता है।
कर्मचारियों का कितने परसेंट पीएफ होता है जमा :
आपकी तनख्वाह से 12 प्रतिशत राशि काटी जाती है, जिसे EPF के रूप में आपके खाते में जमा किया जाता है, जबकि कंपनी की तरफ से भी 12 प्रतिशत की राशि जमा की जाती है, जिसमें से 3.67% कर्मचारी के EPF और 8.33% EPS(Employee Pension Scheme) में जमा किया जाता है। यह पैसा आपके रिटारमेंट के बाद किस्तों में दिया जाता है।
PF पर नहीं देना पड़ता कोई टैक्स :
PF के तौर पर काटी गई राशि पर आपको किसी तरह का कोई Tax नहीं देना पड़ता है और इसका पूरा लाभ कर्मचारी को मिलता है। इसके साथ ही पीएफ की जमा राशि पर सरकार द्वारा ब्याज भी दिया जाता है, जो अन्य स्कीम्स की तुलना में अधिक होता है। आमतौर पर पीएफ की जमा राशि पर करीब 8 प्रतिशत ब्याज मिलता है।