सार

पीएम नरेंद्र मोदी ने चक्रवात रेमल से बचाव और रेस्क्यू की तैयारियों का जायजा लिया। तैयारियों की समीक्षा करते हुए पीएम मोदी ने जनहानि से बचने के लिए पहले ही आशंकित क्षेत्रों को खाली कराने और लोगों को सुरक्षित करने का आदेश दिया।

Cyclone Remal: बंगाल की खाड़ी से चक्रवात रेमल तबाही मचाने जा रहा है। बांग्लादेश और पश्चिम बंगाल सहित कई राज्यों में चक्रवात रेमल तबाही मचा सकता है। पश्चिम बंगाल और पूर्वोत्तर राज्यों में भारी बारिश और तेज आंधी-तूफान से होने वाली तबाही की आशंका को देखते हुए पीएमओ के अधिकारियों के साथ पीएम की हाईलेवल मीटिंग हुई। पीएम नरेंद्र मोदी ने चक्रवात रेमल से बचाव और रेस्क्यू की तैयारियों का जायजा लिया। तैयारियों की समीक्षा करते हुए पीएम मोदी ने जनहानि से बचने के लिए पहले ही आशंकित क्षेत्रों को खाली कराने और लोगों को सुरक्षित करने का आदेश दिया।

पीएम मोदी ने 7 लोक कल्याण मार्ग स्थित अपने आवास पर अधिकारियों के साथ मीटिंग की। आईएमडी के पूर्वानुमान के अनुसार, चक्रवाती तूफान रविवार को आधी रात तक मोंगला (बांग्लादेश) के दक्षिण पश्चिम के करीब सागर द्वीप और खेपुपारा के बीच बांग्लादेश और आसपास के पश्चिम बंगाल तटों को पार करने की संभावना है। इससे पश्चिम बंगाल और पूर्वोत्तर राज्यों में बारिश होने की आशंका है।

क्राइसिस मैनेजमेंट कमेटी लगातार राज्य सरकार के संपर्क में

अधिकारियों ने पीएम मोदी को बताया कि नेशनल क्राइसिस मैनेजमेंट कमेटी, पश्चिम बंगाल सरकार के साथ नियमित संपर्क में है। सभी मछुआरों को दक्षिण बंगाल की खाड़ी और अंडमान सागर में न जाने की सलाह दी गई है। करीब एक लाख लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा रहा है। आईएमडी नियमित अपडेट के साथ बांग्लादेश को सूचना सहायता भी प्रदान कर रहा है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत सरकार ने राज्य सरकार को पूरा समर्थन दिया है और आगे भी देना चाहिए। उन्होंने कहा कि गृह मंत्रालय को स्थिति की निगरानी करनी चाहिए। चक्रवात के पहुंचने के बाद की स्थितियों का आंकलन और सामान्य जनजीवन बहाली के लिए सभी आवश्यक सहायता केंद्र सरकार को पहुंचाने में मदद करनी चाहिए।

एनडीआरएफ की 12 टीमें पश्चिम बंगाल में तैनात

पीएम मोदी ने निर्देश दिया कि पश्चिम बंगाल में पहले से ही तैनात की गई 12 एनडीआरएफ टीमों और ओडिशा में एक टीम के अलावा, अधिक टीमों को स्टैंडबाय पर रखा जाए। यह टीमें एक घंटे में कहीं भी प्रभावित क्षेत्र में पहुंच सके। किसी भी इमरजेंसी से निपटने के लिए भारतीय तटरक्षक बल भी तैनात और अलर्ट रहे। उन्होंने कहा कि किसी भी अप्रिय घटना से बचने के लिए बंदरगाहों, रेलवे और राजमार्गों पर कड़ी निगरानी रखी जाए।

पीएम के साथ मीटिंग में प्रधानमंत्री के प्रधान सचिव, कैबिनेट सचिव, गृह सचिव, एनडीआरएफ के महानिदेशक, आईएमडी के महानिदेशक और एनडीएमए के सदस्य सचिव भी उपस्थित थे।

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