सार
Gujrat News: गुजरात के कुबेरनगर में पुजारी ने मंदिर बचाने के लिए आत्महत्या की। बेटे का आरोप है कि मंदिर तोड़ने के लिए प्रताड़ित किया जा रहा था। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
Gujrat News: गुजरात के कुबेरनगर में एक मंदिर के पुजारी ने अपने बेटे से मंदिर को बचाने की गुजारिश करते हुए आत्महत्या कर ली। जान गंवाने वाले पुजारी के बेटे ब्रिजेश ने दावा किया है कि मंदिर को तोड़ने की कोशिशें की जा रही हैं। एक वीडियो जारी करते हुए ब्रिजेश ने दावा किया है कि उनके पिता को मानसिक रूप से प्रताड़ित किया जा रहा था।
मानसिक रूप से प्रताड़ित करने का आरोप
ब्रिजेश ने कहा, कुछ पार्षद, बिल्डर और पुलिस अधिकारी मेरे पिता को मानसिक रूप से प्रताड़ित कर रहे थे। ये लोग 1972 में स्थापित इस मंदिर को तोड़ना चाहते हैं। ब्रिजेश का दावा है कि ये मंदिर उनके दादा ने स्थापित किया था और इसी के आसपास बाद में संतोषीनगर इलाका बसा। हालांकि, पुलिस और नगर निगम ने मंदिर को तोड़ने के किसी भी प्रयास या इरादे के दावों को खारिज किया है। जी-डिवीजन के अतिरिक्त कमिश्नर वीएन यादव के मुताबिक नगर निगम की गुजारिश पर मंदिर के पास पुलिस बल तैनात किए गए थे।
मामले की जांच में जुटी पुलिस
उन्होंने कहा- मृतक के बेटे ने जो दावे किए हैं उनकी जांच की जा रही है। दुर्घटनावश मौत का मुकदमा दर्ज किया गया है। मृतक महेंद्र सिंह का एक कथित वीडियो सुसाइड नोट भी सामने आया है जिसमें वो अपने बेटे से मंदिर को बचाने की अपील कर रहे हैं। इसके अलावा उन्होंने कहा ये जमीन मेरी जन्मभूमि है और ये मेरे और आसपास के लोगों के लिए पवित्र जगह है। वहीं, अहमदाबाद नगर निगम ने एक बयान जारी कर रहा है कि संतोषीमगर एएमसी के प्लाट पर बसा है और ये अहमदाबाद नगर निगम के उत्तरी जोन के नरोडा वार्ड में आता है।
यह भी पढ़ें: ट्रंप, पाकिस्तान से लेकर क्रिकेट और आध्यात्म तक की चर्चा, top quotes
संतोषीनगर में 475 झुग्गियां हैं और यहां 22 दुकानें भी हैं
नगर निगम के बयान में कहा गया है कि हाल ही में एक डेवलवर से पुराने मंदिर की जह पर 1251 वर्ग मीटर जमीन पर पुनर्विकास योजना बनाने के लिए कहा गया था। हालांकि लोगों की भावनाओं का ध्यान रखते हुए मंदिर जैसा है, उसे वैसे ही छोड़ देने का निर्णय लिया गया।