सार
ट्रेनिंग के दौरान विवादों में आईं ट्रेनी अफसर पूजा खेडकर की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। यूपीएससी द्वारा उनका सेलेक्शन कैंसिल किए जाने के बाद अब दिल्ली कोर्ट ने उनको अग्रिम जमानत से इनकार कर दिया है।
Puja Khedkar anticipatory bail denied: विवादित ट्रेनी आईएएस पूजा खेडकर की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। दिल्ली की एक अदालत ने पूर्व ट्रेनी आईएएस को अग्रिम जमानत देने से इनकार कर दिया है। उन पर सिविल सेवा प्रवेश परीक्षा में पास होने के लिए अपनी विकलांगता के बारे में झूठ बोलने का आरोप है। बुधवार को यूपीएससी ने पूजा खेडकर के सेलेक्शन को कैंसिल कर दिया था। साथ ही भविष्य में यूपीएससी परीक्षा में भाग लेने पर भी बैन लगा दिया था।
18 जुलाई को UPSC ने पूजा को नोटिस भेजा था और कहा था कि आपके ऊपर झूठे डॉक्यूमेंट लगाकर नौकरी पाने का जो आरोप लगा है, उसपर 25 जुलाई तक जवाब दें। उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया। आरोपी अधिकारी ने आयोग से 05 अगस्त तक की मोहलत मांगी लेकिन परीक्षा संस्था ने 31 जुलाई तक जवाब देने का आखिरी वक्त दिया। पूजा खेडकर के पेश नहीं हुईं।
UPSC ने दर्ज कराया है एफआईआर
विवादित ट्रेनी अधिकारी पूजा खेडकर के लोकसेवा आयोग में चयन को यूपीएससी ने निरस्त कर दिया था। यूपीएससी के अनुसार, पूजा खेडकर ने अपने सेलेक्शन के लिए विभिन्न स्तरों पर फर्जीवाड़ा किया था। पूजा 2022 बैच में सेलेक्ट हुई थीं। आयोग ने बताया कि ट्रेनी आईएएस ने सेलेक्शन के दौरान अपना नाम, माता-पिता का नाम, अपनी फोटो, सिग्नेचर, ईमेल, मोबाइल नंबर और पता बदलकर फर्जी आईडी तैयार कराई थी। नई आईडी बनवा उसने परीक्षा दी थी। फर्जी आईडी के आधार पर यूपीएससी क्लियर किया और ट्रेनी भी बन गई।
हालांकि, पूजा का पोल उस समय खुलने लगा जब ट्रेनी आईएएस के रूप में काम करने पहुंची और अपनी हरकतों की वजह विवादों में आ गईं। इसके बाद केंद्र सरकार के कार्मिक मंत्रालय ने एक सदस्यीय जांच कमेटी गठित किया था। उधर, यूपीएससी ने महाराष्ट्र सरकार से ट्रेनी आईएएस पूजा खेडकर के सभी सर्टिफिकेट और अन्य दस्तावेजों के सत्यापन को कहा था।
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