सार

निठारी सिलसिलेवार हत्या मामले में इलाहाबाद हाई कोर्ट ने आरोपी सुरेंद्र कोली को बरी कर दिया था। इस फैसले के खिलाफ केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) चुनौती दी थी।

Nithari serial killings Case: निठारी हत्या मामले में इलाहाबाद हाई कोर्ट ने आरोपी सुरेंद्र कोली को बरी कर दिया था। फैसले के खिलाफ केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने चुनौती दी थी। इस पर सुप्रीम कोर्ट ने 2006 से जुड़े हत्या मामले पर सोमवार (8 जुलाई) को नोटिस जारी किया है। न्यायमूर्ति बी आर गवई और न्यायमूर्ति के वी विश्वनाथन की पीठ ने मामले की सुनवाई के लिए सहमत हो गई और उच्च न्यायालय के फैसले के खिलाफ CBI द्वारा दायर याचिका पर कोली से जवाब मांगा है। 

इससे पहले शीर्ष अदालत मई में उच्च न्यायालय के आदेश को चुनौती देने वाली एक पीड़िता के पिता की याचिका पर सुनवाई के लिए सहमत हुई थी। जजों के बेंच ने कहा कि CBI द्वारा दायर याचिकाओं पर इस याचिका के साथ सुनवाई होगी। इस मामले में पीड़ित लड़कियों में से एक के पिता पप्पू लाल ने उन्हें बरी किए जाने के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में तत्काल अपील की थी।

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निठारी हत्याकांड से जुड़े मामलों में फैसला

न्यायमूर्ति बी आर गवई और न्यायमूर्ति के वी विश्वनाथन की पीठ मामले की सुनवाई के लिए सहमत हो गई। इलाहाबाद हाई कोर्ट के फैसले के खिलाफ CBI द्वारा दायर याचिका पर कोली से जवाब मांगा। इलाहाबाद हाई कोर्ट ने निठारी हत्याकांड से जुड़े कुछ मामलों में पंढेर और उसके घरेलू सहायक सुरेंद्र कोली को बरी कर दिया और निचली अदालत द्वारा उन्हें दी गई मौत की सजा को पलट दिया। इलाहाबाद हाई कोर्ट ने कोली को 12 मामलों में और पंढेर को 2 मामलों में बरी कर दिया, जिनमें उन्हें हत्या के लिए दोषी ठहराया गया था। इन मामलों में ट्रायल कोर्ट ने मौत की सजा सुनाई थी। इसके चलते सुप्रीम कोर्ट के सामने तत्काल अपील की गई।

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