सार

अब तक आईआईटी जोधपुर के 65 छात्र कोरोना संक्रमित हो चुके हैं। जिला प्रशासन और हेल्थ विभाग ने सभी छात्रों को आईआईटी के सुपर आइसोलेशन सेंटर में रखा है। साथ ही बाहर से आने-जाने वालों पर पाबंदी लगा दी है। 

जोधपुर. राजस्थान में कोरोना मरीजों का आंकड़ा लगातार बढ़ता जा रहा है। राज्य सरकारी की तमाम कोशिशों के बाद भी यहां कोरोना आउट ऑफ कंट्रोल होता जा रहा है। दूसरी लहर की जो तस्वीर सामने आ रही हैं वह बेहद डरावनी हैं। अब महामारी स्कूल-कॉलेजों तक जा पहुंची है। शनिवार को जोधपुर में इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (IIT) के 14 और छात्रों की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। 

IIT के 65 छात्र कोरोना संक्रमित 
अब तक आईआईटी जोधपुर के 65 छात्र कोरोना संक्रमित हो चुके हैं। जिला प्रशासन और हेल्थ विभाग ने सभी छात्रों को आईआईटी के सुपर आइसोलेशन सेंटर में रखा है। साथ ही बाहर से आने-जाने वालों पर पाबंदी लगा दी है। 

राज्य में आउट ऑफ कंट्रोल कोरोना
बता दें कि राजस्थान की हालत दिन बा दिन बिगड़ती जा रही है। दिसंबर के महीने में डेली औसतन 1296 मरीज मिल रहे थे। लेकिन मौजूदा हालात इससे भी ज्यादा खराब हो चुके हैं। कोरोना के कहर को देखते ही सीएम अशोक गहलोत के आदेश के बाद राज्य के 10 बड़े शहरों में एक सप्ताह पहले नाइट कर्फ्यू तक लगा दिया गया है। लेकिन इसके बावजूद भी मामले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं।

बेहद डरावनी है प्रदेश की तस्वीर
राज्य सरकार और हेल्थ विभाग के जारी आंकड़े के मुताबिक शनिवार को इस साल  के सबसे ज्यादा केस यानि करीब 1500 मरीज संक्रमित पाए गए हैं। सबसे ज्यादा मरीज राजधानी जयपुर में 367 मिले हैं। वहीं राज्य का रिकवरी रेट 98.72 फीसदी  से गिरकर 95.68% पर आ चुका है। सिर्फ एक सप्ताह के भीतर 4679 एक्टिव केस सामने आ चुके हैं। पिछले महीने जहां 1308 ही एक्टिव केस थे, जो शनिवार को दिन तक बढ़कर 11 हजार 738 पर पहुंच गया।

सीएम ने कहा-जनता मान जाए..नहीं तो हमे मजबूर होना पड़ेगा
कोरोना की बढ़ती रफ्तार से चिंतित राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत  ने शनिवार रात विशेषज्ञों, चिकित्सकों और अफसरों के साथ लाइव समीक्षा की। जिसमें कई अहम फैसले लिए गए और नई गाइडलाइन बनाई गई। सीएम ने कहा कि संक्रमण के फैलाव को रोकने के लिए और सख्ती बढ़ाई जाएगी। उन्होंने कहा कि राज्य की जनता सभी नियमों और शर्तों का पालन करे। साथ ही केंद्र को आगे आकर कुछ ठोस कदम उठाना चाहिए। नहीं तो अनुशासन लाने के लिए जरूरी है कि केंद्र सरकार एसओपी जारी करे। राज्य सरकार इसे लेकर केंद्र सरकार से बात करेगी। गहलोत ने कहा कि अगर केंद्र अगर पहल करता है तो अच्छा है वरना मजबूर होकर हमें ही एसओपी जारी करनी पड़ेगी।