सार

राजस्थान पुलिस का कांड सामने आया है वो मानवता को ही लज्जित करता है। क्योंकी यहां पुलिस की ऐसी दबंगई सामने आई है, जो दो मासूम बच्चों पर कहर बरपाते हैं। पुलिसकर्मियों ने दोनों को जानवरों की तरह बीच सड़क पर लात-घूसों से गिरा-गिराकर पीटा।  वह चीखते-चिल्लाते रहे अंकल हमारी गलती नहीं है, हमें आवाज ही नहीं आई, लेकिन उन्होंने मासूमों की एक नहीं सुनी और पीटते रहे।


भरतपुर, राजस्थान में हर दो से तीन दिन के अंदर पुलिस के ऐसे शर्मनाक कांड उजागर हो रहे हैं, जिससे  प्रदेश के पूरे पुलिस विभाग को शर्मिंदा होना पड़ता है। कभी फरियादी महिला के साथ छेड़छाड़ कर देते हैं तो कभी रेप जैसे मामले को सुलझाने के लिए घूस लेते नजर आते हैं। अब जो मामला सामने आया है वो तो मानवता को ही लज्जित करता है। क्योंकी यहां पुलिस की ऐसी दबंगई सामने आई है, जो दो मासूम बच्चों पर कहर बरपाते हैं। पुलिसकर्मियों ने दोनों को जानवरों की तरह बीच सड़क पर लात घूसों से गिरा-गिराकर पीटा। बच्चों का कसूर बस इतना था कि वह गलती से पुलिस की गाड़ी हॉर्न नहीं सुन पाए थे। बस इसी छोटी बात पर खाकी वर्दी धारी हैवान बन गए।

चिल्लाते रहे अंकल हमारी गलती नहीं है, हमें छोड़ दो...
दरअसल, दो दिन पहले यानि 31 जनवरी को भरतपुर के मथुरा गेट थाना इलाके में सूरजपोल चौराहे का है। जहां  क्रिकेट खेलकर दो बच्चे मस्ती करते हुए अपने घर लौट रहे थे। इसी बीच पीछे से पुलिस की जीप आ रही थी, पुलिसकर्मियों ने उनको हटाने के लिए गाड़ी का हॉर्न बजाया, लेकिन बच्चे उसकी आवाज नहीं सुन पाए। फिर क्या था  पुलिसकर्मी अपनी गाड़ी में से उतरे और दोनों बच्चों की सड़क पर पटक कर लात घूसों से पिटाई शुरू कर दी। वह चीखते-चिल्लाते रहे अंकल हमारी गलती नहीं है, हमें आवाज ही नहीं आई, लेकिन उन्होंने मासूमों की एक नहीं सुनी और पीटते रहे।

पुलिसवालों ने इतना पीटा की एक बच्चा वेंटिलेटर पर
अगर समय रहते स्थानीय लोग बीच-बचाव करने ने नहीं आते तो पता नहीं हैवान बने पुलिसकर्मी क्या करते। इतना ही नहीं बुरी तरह से बच्चों को पीटने के बाद पुलिसकर्मी मासूमों को जख्मी हालत में सड़क पर छोड़कर फरार हो गए। दोनों मासूम गंभीर रुप से घायल हो गए हैं, जिनका अस्पताल में इलाज चल रहा है। वहीं नाबालिग सागर सैनी नाम का एक बच्चा तो वेंटिलेटर पर है और उसकी स्थिति गंभीर बताई जा रही है।

एसपी ने जांच के लिए सिटी सीओ को किया नियुक्त
अब एक बच्चे मां सावित्री देवी ने जिला पुलिस अधीक्षक श्याम सिंह से शिकायत दर्ज न्याय की गुहार लगाई है। वहीं प्रशासन ने भी मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच के लिए सिटी सीओ सतीश वर्मा को नियुक्त किया है। जो पूरे केस की रिपोर्ट बनाकर जिला पुलिस कार्यालय में भेजेगा। जिसके बाद जल्द ही इसकी जांच करने के बाद पुलिसकर्मयों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

पीड़ित बच्चे ने बताया उस दिन उनके साथ क्या हुआ था
वहीं वेंटिलेटर पर इलाज चल सरे सागर सैनी बच्चे के दूसरे साथी राहुल ने बताया कि हम दोनों दोस्त क्रिकेट खेलकर अपने घर आ रहे थे। पुलिस अंकल ने कब हॉर्न बजाया हमे कुछ सुनाई नहीं दिया। जब पुलिसवाले हमें  गाली-गलौज करते सामने आए तब हम समझे। हालांकि हमने उनसे इस बात के लिए माफी भी मांगी। लेकिन कुछ सुनने की बजाए हमारी लात घूसों से पिटाई शुरू कर दी।