सार
यह दुखद मामला मध्य प्रदेश के अशोकनगर के बांसापुर का है। जहां एक महिला की भोपाल के हमीदिया हॉस्पिटल में इलाज के दौरान मौत हो गई। लेकिन मृतका ने मरने से पहले जो सुसाइड नोट लिखा वह बेहद दर्दनाक है।
भोपाल, मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल के हमीदिया हॉस्पिटल में इलाज के दौरान एक महिला की 5 जुलाई को मौत हो गई। उसे बचाने के लिए डॉक्टरों ने एक नहीं दो-दो ऑपरेशन तक किए, लेकिन वह नहीं बच सकी। क्योंकि एसिड पीने की वजह से उसकी अहार नली पूरी तरह से डैमेज हो चुकी थी। मृतका ने मरने से पहले एक सुसाइड नोट लिखा था,जिसमें कई चौंकाने वाली बातें लिखी गई हैं। उसने अपनी मौत की वजह ससुरालवालों और पति को बताया है। अब वह नोट पुलिस के हाथ लगा है।
एमपी के अशोकनगर का है पूरा मामला
पुलिस ने मृतका की पहचान किरण शर्मा (28) के रूप में की है। जो कि मूल रूप से अशोकनगर के बांसापुर के छैघरा की रहन वाली थी। पिछले साल मार्च 2023 में उसकी शादी विनोद पाठक नाम के युवक से हुई थी। लेकिन शादी के बाद से ही उसकी जिंदगी ससुरालवालों ने दहेज के लिए इतना इस तरह प्रताड़ित किया कि वह मरने के लिए मजबूर हो गई। आखिर में उसे एसिड पिला दिया गया। युवती को किसी तरह 23 दिसंबर को हमीदिया अस्पताल में गंभीर हालत में भर्ती करवाया गया था। हालत में सुधार हुआ तो मायके वाले उसे अपने घर ले गए। कुछ दिन बाद फिर किरण को भर्ती करवाना पड़ा। 8 महीने तक उसका इलाज चला, लेकिन वह नहीं बच सकी। वहीं युवती क पिता ने कहा कि मेरी बेटी को उसकी सास ने पकड़ा और पति ने एसिड पिला दिया।
मरने से पहले लिखा दर्दनाक सुसाइड नोट
मृतका ने सुसाइड नोट में लिखा-मैं जो लिख रही हूं वह पूरे होशो-हवास में लिख रही हूं, किसा का कोई दबाव नहीं है। अगर ऑपरेशन के बाद मुझे कुछ हो जाता है तो मेरी मौत के जिम्मेदार सिर्फ और सिर्फ मेरा पति और सुसरालवाले होंगे। जिन्होंने मुझे दहेज की लालच में प्रताड़ित किया। मेरे पापा ने अपनी गुंजाइश से ज्यादा पैसा इन्हें दिया और शादी की। लेकिन फिर भी ये लोग दहेज की डिमांड करते रहे। जब मैंने इंकार कर दिया तो मेरे साथ जानवरों की तरह मारपीट करते। ससुरालवाले मुझसे हर महीने 50 हजार रुपए मांगते थे। नहीं दिए तो इन्होंने कमरे में कैद कर दिया और खाने तक को नहीं दिया। आखिर में पापा किराने का पूरा सामान खरीदकर रख जाने लगे। लेकिन अब जीना नहीं चाहती हूं, लेकिन मेरी मौत के यही लोग जिम्मेदार हैं, इन्हें सजा मिलना चाहिए।
पिता बोले-दामाद ने बेटे को मार डाला
वहीं इस पूरे मामले पर मृतका किरण के पिता परमानंद शर्मा का रो-रोकर बुरा हाल है। उनका कहना है कि वह मेरे तीसरे नंबर की बेटी थी। जिसे मैंने कभी कोई दुख नहीं दिया। ह मेरे चार बच्चों में किरण तीसरे नंबर की थी। हम गांव में रहते हैं। बेटी किरण का रिश्ता बांसापुर के छैघरा के रहने वाले विनोद पाठक से जुड़ा तो पूरा परिवार बहुत खुश हुआ, क्योंकि बेटी गांव से निकलकर शहर में रहने जा रही थी।